शुक्रवार (Friday) का दिन मां वैभव लक्ष्मी (Maa Vaibhav Lakshmi) की आराधना के लिए उत्तम माना जाता है. इस दिन देवी लक्ष्मी की पूजा व उपवास किया जाता है. मान्यता है कि माता लक्ष्मी के व्रत व पूजा करने वाले लोगों को जीवन में कभी भी धन की कमी नहीं होती और घर में सुख-शांति का वास होता है. इसके अलावा शुक्रवार को मां वैभव लक्ष्मी पूजन के साथ ही विशेष मंत्रों का उच्चारण करने से मां शीघ्र प्रसन्न होती हैं.
मां वैभव लक्ष्मी की भक्ति करने से आयु में वृद्धि के साथ ही समाज में सम्मान की प्राप्ति होती है. मां वैभव लक्ष्मी की आराधना करने वाले व्यक्ति का स्वास्थ्य भी दुरुस्त रहता है. आइए आपको बताते हैं मां वैभव लक्ष्मी व्रत व पूजन की विधि व विशेष मंत्र.
व्रत व पूजा विधि
-सूर्य के उदय होने से पहले जगकर स्नानादि से निवृत्त हो जाएं.-देवी लक्ष्मी को सफेद रंग प्रिय है इसलिए संभव हो तो सफेद रंग के वस्त्र धारण करें.
-माता की पूजा करते समय पूर्व दिशा की ओर मुख करके बैठें.
-एक चौकी पर लाल रंग का साफ कपड़ा बिछाकर उस पर माता का आसन लगाएं.
-देवी लक्ष्मी की प्रतिमा या तस्वीर, जो भी आपने चौकी पर स्थापित की हो, उसके समक्ष चावल का ढेर रखें. उस पर तांबे के पात्र में शुद्ध जल भर कर रखें.
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-अब दीपक प्रज्वलित करें, धूप आदि जलाएं.
-पूजा के दौरान मां को सफेद पुष्प और सफेद चंदन अर्पित करें.
-अब माता लक्ष्मी की आरती करें व व्रत धारण किया है तो व्रत कथा का श्रवण-मनन अवश्य करें.
-मां के शुभ मंत्रों का जाप श्रद्धापूर्वक करें.
-शुक्रवार को माता लक्ष्मी का उपवास करने वाले लोगों को एक समय भोजन ग्रहण करना चाहिए.
-नमक का सेवन बिल्कुल न करें. इस दिन माता को खीर का भोग लगाकर खुद भी जरूर खाएं.
नोट- उपरोक्त दी गई जानकारी व सूचना सामान्य उद्देश्य के लिए दी गई है। हम इसकी सत्यता की जांच का दावा नही करतें हैं यह जानकारी विभिन्न माध्यमों जैसे ज्योतिषियों, धर्मग्रंथों, पंचाग आदि से ली गई है । इस उपयोग करने वाले की स्वयं की जिम्मेंदारी होगी ।
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