रियासी । जम्मू-कस्मीर (Jammu and Kashmir) के राजौरी जिले में हाल में हुए तीन विस्फोटों (three explosions) के मास्टरमाइंड और भारी हथियारों (weapons) से लैस लश्कर-ए-तैयबा के दो आतंकियों को रियासी जिले के ग्रामीणों ने रविवार को पकड़ कर पुलिस के हवाले कर दिया।
पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी (senior officer) ने बताया कि उप राज्यपाल मनोज सिन्हा और पुलिस महानिदेशक दिलबाग सिंह ने ग्रामीणों के साहस की सराहना की और उनके लिए नकद पुरस्कार की घोषणा की है। यह घटना टक्सन ढोक गांव में हुई और पकड़े गए आतंकियों में लश्कर-ए-तैयबा का मोस्टवांटेड कमांडर तालिब हुसैन निवासी राजौरी और राजौरी जिले में हाल में हुए आईईडी विस्फोटों का मास्टरमाइंड शामिल है।
उप राज्यपाल सिन्हा (Lieutenant Governor Sinha) ने ट्वीट कर कहा, मैं टक्सन ढोक के ग्रामीणों की बहादुरी को सलाम करता हूं, जिन्होंने दो मोस्टवांटेड आतंकियों(most wanted terrorists) को पकड़ा। आम आदमी का ऐसा संकल्प दिखाता है कि आतंकवाद का अंत दूर नहीं है। राज्य शासन आतंकियों और आतंकवाद के खिलाफ वीरतापूर्ण कार्रवाई के लिए ग्रामीणों को पांच लाख रुपये का नकद इनाम देगी।
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशाक मुकेश सिंह ने बताया कि दोनों की गिरफ्तारी 28 जून को राजौरी जिले में हुसैन के नेतृत्व वाले एक मॉड्यूल का खुलासा करने के बाद हुई है, जो जिले में हाल ही में हुए विस्फोटों के पीछे था। जबकि संगठन के दो आतंकियों को पांच आईईडी के साथ गिरफ्तार किया गया था। हुसैन सुरक्षा बलों के जाल से बचने के लिए पास के रियासी जिले में चला चला गया था। हुसैन पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा के आतंकी कासिम के लगातार संपर्क में था और राजौरी जिले में आईईडी विस्फोटों के कम से कम तीन मामलों में शामिल था।
प्रारंभिक पूछताछ में पता चला है कि दोनों आतंकी एक पाकिस्तानी लश्कर के हैंडलर सलमान के संपर्क में भी थे। दोनों आतंकियों की गिरफ्तारी को एक बड़ी सफलता बताते हुए अधिकारी ने कहा कि वे रियासी के अलावा सीमावर्ती जिलों- राजौरी और पुंछ में आतंकी गतिविधियों को बढ़ाने का प्रयास कर रहे थे।
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