इंदौर (Indore)। लाखों रुपए की इनकम बताकर इनकम टैक्स भरता था, लेकिन खुद को गरीब बताकर झूठा आय प्रमाण-पत्र बनवा लिया। प्रथम अपर सत्र न्यायाधीश संजय कुमार गुप्ता की कोर्ट ने इस धोखाधड़ी में गिरफ्तार आरोपी संजय अग्रवाल निवासी महालक्ष्मी नगर को जमानत देने से इनकार करते हुए उसका आवेदन निरस्त कर दिया।
थाना रावजी बाजार पर फरियादी नवीन चौधरी निवासी संचार नगर एक्स. द्वारा शिकायत दर्ज कराई गई थी। इसमें कहा था कि आरोपी संजय और उसकी पत्नी मीनू अग्रवाल ने दस्तावेजों की कूटरचना करके और तथ्यों को छिपाकर झूठा आय-प्रमाण पत्र बनवा लिया। पुलिस द्वारा शिकायत की जांच में पाया गया कि संजय ने असत्य जानकारी देते करते हुए 11 मार्च 2019 को लोक सेवा केंद्र कनाडिय़ा से खुद के नाम से आय का प्रमाण-पत्र बनवाया है, जिसमें उसने समस्त स्त्रोत से परिवार की आय 48,000 रुपए अंकित की है, जबकि उसने 05 मार्च 2019 को आयकर रिटर्न फाइल करके अपनी स्वयं की आय 4 लाख 78 हजार 636 रुपए दर्शाते हुए आयकर भुगतान किया है।
इसी तरह पत्नी मीनू अग्रवाल का भी आयकर रिटर्न फाइल कर आय 4 लाख 53 हजार 600 रुपए दर्शाते हुए आयकर भुगतान किया गया। उसके बैंक खातों से भी लाखों रुपए का लेनदेन पाया गया। पुलिस ने धोखाधड़ी का केस दर्ज कर आरोपी संजय को गिरफ्तार किया था। संजय की ओर से पेश किए गए जमानत आवेदन पर तीन अन्य आपत्तिकर्ताओं ने भी कोर्ट को यह जानकारी दी कि आरोपी ने उनके साथ भी व्यवसाय में लाखों रुपए की धोखाधड़ी की है। सभी के तर्क सुनने के बाद कोर्ट ने आरोपी संजय का जमानत आवेदन निरस्त कर दिया।
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