नई दिल्ली (New Dehli)। ड्रोन हमले (Drone strikes)को लेकर मीडिया से बात करते हुए जॉन किर्बी (John Kirby)ने बताया कि इस हमले में 30 अन्य अमेरिकी सैनिक (American soldiers)घायल भी हुए है। उनमें से कुछ गंभीर (Serious)रूप से घायल है। हम और युद्ध नहीं चाहते हैं। हमें आगे बढ़ना नहीं चाहते हैं।
जॉर्डन में ड्रोन हमले में तीन अमेरिकी सैनिकों के मारे जाने के एक दिन बाद राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद के प्रवक्ता जॉन किर्बी ने प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि वे युद्ध नहीं चाहते हैं, लेकिन खुद को बचाने के लिए जो भी कुछ करना पड़ेगा वे करेंगे।
जॉन किरबी ने प्रतिक्रिया दी
ड्रोन हमले को लेकर मीडिया से बात करते हुए किर्बी ने बताया कि इस हमले में 30 अन्य अमेरिकी सैनिक घायल भी हुए है। उनमें से कुछ गंभीर रूप से घायल है। उन्होंने कहा, ‘ये सैनिक क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण मिशन चला रहे थे। उनका उद्देश्य आईएसआईएस का मुकाबला करने के लिए अमेरिका की मदद करना है। यहां तक की रक्षा विभाग इस हमले की अधिक जानकारी जुटा रहा है।’ उन्होंने बताया कि आईएसआईएस विरोधी मिशन अलग है। दरअसल यह लंबे समय से ही चल रहा है। यह इस्राइल का समर्थन करने और क्षेत्र में संघर्ष को रोकने के हमारे प्रयासों से संबंधित नहीं है।
किर्बी ने आगे कहा, ‘हम और युद्ध नहीं चाहते हैं। हम आगे बढ़ना नहीं चाहते हैं। लेकिन हम खुद को बचाने के लिए वह सब कुछ करेंगे जो हमें करना चाहिए। राष्ट्रपति जो बाइडन ने राष्ट्रीय सुरक्षा टीम से दोबार मुलाकात की। वह विभिन्न विकल्पों पर विचार कर रहे हैं। उन्होंने जैसा कहा था कि वह इसपर प्रतिक्रिया देंगे। हम अपने समय पर ऐसा करेंगे।’
हमले का जवाब देगा अमेरिका
अमेरिका के रक्षा मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा कि उनका देश इस हमले पर प्रतिक्रिया देगा। उन्होंने कहा, ‘राष्ट्रपति बिलकुल स्पष्ट है। हम प्रत्येक आक्रमण का निर्णायक जवाब देंगे। हम उन सभी को जिम्मेदार ठहराएंगे, जिन्होंने हमारी सैनिकों की जान ली है। हम यह एक निर्धरित समय और स्थान पर करेंगे। क्षेत्र में हमारा ध्यान अपने लक्ष्य पर केंद्रित है।’
इस हमले के बाद नाटो के महासचिव जेन्स स्टोलटेनबर्ग ने शोक जताते हुए कहा कि ईरान इस क्षेत्र को अस्थिर करने की कोशिश करेगा। लाल सागर में जहाजों पर हमला करने के लिए ईरान भी जिम्मेदार है।
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