लखनऊ। उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में हाल में हुए उपचुनाव (by-election) में पार्टी के प्रदर्शन और 2024 के लोकसभा चुनाव की तैयारियों (2024 Lok Sabha Elections Preparations) को लेकर भाजपा नेतृत्व (BJP leadership) ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Chief Minister Yogi Adityanath) के साथ लंबी बैठक की है। इस बैठक में राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा (JP Nadda) के साथ रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Rajnath Singh), गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) और संगठन महासचिव बीएल संतोष मौजूद रहे। बैठक में आगामी निकाय चुनाव को लेकर भी चर्चा की गई है।
दो विधानसभा रामपुर व खतौली और एक लोकसभा मैनपुरी के उपचुनाव में भाजपा के प्रदर्शन को लेकर केंद्रीय नेतृत्व ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनथ के साथ नतीजों को लेकर समीक्षा की है। भाजपा इनमें से एक सीट रामपुर ही जीत पाई है, जबकि मैनपुरी और खतौली में उसे हार मिली है। मैनपुरी के नतीजों को लेकर पार्टी को पहले से ही अंदेशा था, लेकिन जो मार्जिन बढ़ा वह चौंकाने वाला है। इसके अलावा खतौली में भी आठ महीने के भीतर सीट हारने का मामला गंभीर माना जा रहा है। पार्टी रामपुर की जीत को काफी अहम भी मान रही है।
खतौली की हार ने समीकरण बिगाड़ा
भाजपा नहीं चाहती थी कि जाटलैंड में चौधरी जयंत मजबूत हों, लेकिन खतौली की हार ने उसका समीकरण गड़बड़ा दिया है। यहां पर जाट, गुर्जर, दलित और मुसलमान समुदाय का बड़ा समर्थन रालोद के उम्मीदवार को मिला है। सामाजिक समीकरणों के लिहाज से यह भाजपा के लिए चेतावनी भी है। दूसरी तरफ, मैनपुरी में उसका हार का मार्जिन बहुत ज्यादा बढ़ गया है। मुलायम सिंह यादव भी इतने अंतर से नहीं जीत पाए, जितना डिंपल यादव को जीत मिली का है। वह भी तब जबकि भाजपा ने सामाजिक समीकरण को देखते हुए मजबूत उम्मीदवार को उतारा था।
प्रचार ठीक से नहीं हो रहा
सूत्रों के मुताबिक, बैठक में यह मुद्दा भी उठा कि कहीं न कहीं पार्टी के सामाजिक समीकरण गड़बड़ा रहे हैं या सही ढंग से प्रचार के जरिये जनता तक नहीं पहुंचा जा रहा है। नेतृत्व ने सलाह दी है कि लाभार्थी योजनाओं को ज्यादा से ज्यादा लाभार्थी वर्ग तक सरकार और पार्टी लेकर जाए। इसमें सरकार की भूमिका ज्यादा महत्वपूर्ण होगी। दरअसल, भाजपा नेतृत्व ने आगामी लोकसभा चुनावों के लिए अभी से हर सीट को लेकर व्यूह रचना तैयार करने को कहा है।
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