यूएन। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) में भारत ने एक बार फिर पाकिस्तान को आतंकवाद का समर्थन करने वाले देश बताया है। परिषद में भारत के उप स्थायी प्रतिनिधि के नागराज नायडू ने पाकिस्तान का नाम लिए बगैर कहा कि एक पड़ोसी देश न केवल भारत में बल्कि दुनियाभर में आतंकवादियों को पनाह और मदद मुहैया कर रहा है। भारत ने यह भी कहा कि आतंकवाद को पड़ोसी देश की सरकार का भी समर्थन प्राप्त है।
परिषद की बैठक में नागराज ने कहा कि भारत कई दशकों से प्रॉक्सी वॉर (छद्म युद्ध) और क्रॉस बॉर्डर टेरेरिज्म (सीमा पार आतंकवाद) का सामना कर रहा है। उन्होंने कहा कि वहां की सरकार खुलेआम आतंकवाद का समर्थन करती है और दहशतगर्दों को मदद मुहैया करवाती है। इन आतंकियों को प्रशिक्षण, फंडिंग, खुफिया जानकारी और हथियार दिए जाते हैं जिनसे वे हमारे देश में हिंसा फैलाते हैं।पाकिस्तान का नाम लिए बिना नायडू ने कहा कि कुछ देशों ने भारत के खिलाफ छद्म युद्ध छेड़ा हुआ है।
उन्होंने कहा कि ये देश आतंकवादी गुटों को हर तरह से मदद और पैसा मुहैया कराते हैं। दुनिया के सभी देशों को इस तरह के मुल्कों का मिलकर सामना करना होगा। यह सबकी सामूहिक जिम्मेदारी है कि हम आतंकवाद के खिलाफ मिलकर लड़ाई लड़ें। नायडू का बयान ऐसे समय पर आया है जब फ्रांस के पेरिस में वित्तीय कार्रवाई कार्यबल (एफएटीएफ) की बैठक चल रही है। इसमें पाकिस्तान के ग्रे लिस्ट में रहने या ब्लैक लिस्ट होने को लेकर आज फैसला आने की संभावना है।
इससे पहले भारत ने परिषद में पाकिस्तान के खिलाफ बयान और सबूत देकर साबित कर दिया था कि आतंकवाद कितनी गंभीर समस्या है। साथ ही इसे रोकने के लिए पाकिस्तान की इमरान खान सरकार ने अब तक कोई कड़ी कार्रवाई नहीं की है। यदि पाकिस्तान ग्रे लिस्ट में ही रहता है तो भी उसके लिए परेशानियां काफी बढ़ जाएंगी। यदि उसे ब्लैक लिस्ट किया जाता है तो उसके ऊपर दिवालिया होने का खतरा मंडराने लगेगा। बता दें कि पाकिस्तान पिछले दो साल से ग्रे लिस्ट में है।
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