यूएन। संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेस (United Nations Secretary-General Antonio Guterres) ने उम्मीद जताई है कि मानवाधिकार (human rights) संबंधी सवालों की जांच के लिए संयुक्त राष्ट्र के मानवाधिकार प्रमुख (UN human rights chief) को शिनजियांग (xinjiang) सहित देश के उन तमाम हिस्सों के दौरे ही इजाजत देगा, जहां अल्पसंख्यकों पर अत्याचारों (atrocities on minorities) के आरोप लगाए जा रहे हैं।
शीतकालीन ओलंपिक खेलों (Winter Olympic Games) के उद्घाटन समारोह में शामिल होने पहुंचे एंतोनियो गुटेरेस (Antonio Guterres) ने चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग (Chinese President Xi Jinping) और विदेश मंत्री वांग यी से मिलने के बाद एक वक्तव्य में कहा, चीन ने दौरे की इजाजत देने के संकेत दिए हैं। चीन ने पिछले महीने कहा था कि संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार प्रमुख मिशेल ब्रेशलेट का शिनजियांग का दौरा करने के लिए स्वागत है। वहीं चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियन ने कहा था कि इस दौरे में चीन को अपराधी मानकर जांच की इजाजत नहीं होगी। असल में चीन में हो रहे शीत ओलंपिक का पश्चिमी देशों ने मानवाधिकार उल्लंघन के चलते बहिष्कार कर दिया। चीन ने करीब दस लाख से अधिक उइगर मुसलमानों को बंदी बना रखा है। चीन ने वुहान में कोविड फैलने की जांच के लिए भी विश्व स्वास्थ्य संगठन व स्वतंत्र दल को दौरे की इजाजत नहीं दी थी। भारत ने उद्घाटन समारोह में भाग नहीं लिया था, क्योंकि चीन ने गलवां में धोखे से हमले के नेतृत्व करने वाले रेजिमेंट कमांडर की फाबाओ को ओलंपिक खेलों की मसाल थमा दी थी। ह्यूमन राइट्स वॉच का कहना है कि चीन अपने घृणित अपराधों को खेलों के पीछे नहीं छिपा सकता।