जयपुर। उदयपुर (Udaipur) में तालिबानी अंदाज (Taliban style) में एक युवक की हत्या की जांच के लिए राज्य सरकार (State government) ने एक एसआईटी का गठन (Formation of SIT) किया है। इस घटना के बाद जांच के लिए राष्ट्रीय जांच एजेन्सी उदयपुर पहुंचकर अपनी जांच शुरू कर दी है। गहलोत सरकार (Gehlot government) ने पीड़ित परिवार (victim’s family) को 31 लाख रुपये का मुआवजा (31 lakh compensation) और परिवार के दो सदस्यों को संविदा पर नौकरी देने का ऐलान किया है।
उदयपुर (Udaipur) में तालिबानी अंदाज (Taliban style) में एक युवक की हत्या की जांच के एसआईटी का गठन (Formation of SIT) किया है। इसी क्रम में मुख्य आरोपियों में से एक मोहम्मद रियाज को लेकर जानकारी मिली है कि वो उदयपुर के परकोटे में एक दुकान पर वेल्डर के रूप में काम करता था। पुलिस सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार रियाज एक स्थानीय मस्जिद में भी काम करता था और धार्मिक प्रचार में शामिल रहता था। उन्होंने कहा कि रियाज 12 जून को अपनी पत्नी और दो बच्चों के साथ किराए के मकान में रहने गया था।
बता दें कि मंगलवार दोपहर लगभग 2.30 पर धानमंडी स्थित भूतमहल के पास कन्हैयालाल तेली (40) की टेलरिंग की दुकान में घुस कर दो बदमाशों ने तलवार से हमला कर मौत के घाट उतार दिया था। मकान मालिक मोहम्मद उमर ने कहा “मैं उससे कभी नहीं मिला। रियाज की पत्नी ने किराये के आवास के लिए मेरी पत्नी से संपर्क किया था। मैंने पहचान पत्र मांगा था लेकिन उन्होंने मुझे नहीं दिया। परिवार ने घटना से पहले 28 जून को मकान खाली कर दिया था।” उन्होंने बताया कि रियाज मूल रूप से भीलवाड़ा के आसींद कस्बे का रहने वाला है और वह उदयपुर में एक दुकान में वेल्डर के रूप में काम करता था।
कन्हैयालाल के हत्या का लाइव वीडियो सामने आया था। इसमें गौस मोहम्मद और रियाज ने जिस हथियार से कन्हैयालाल की हत्या की थी, उसे लेकर सोशल मीडिया पर सवाल उठाए जा रहे हैं। लोग इसे लेकर तरह तरह की बात कर रहे है। चूंकि अब रियाज के वेल्डिंग का काम करने की पुष्टि हुई है, लिहाजा यह अंदाजा लगाया जा रहा है कि वारदात के लिए उसने खुद यह हथियार तैयार किया था।
इस घटना के बाद पूरे शहर में आक्रोश व्याप्त हो गया। कुछ ही देर में उदयपुर के कई थाना क्षेत्रों में स्थिति खराब हो गई। प्रशासन को धानमंडी, घंटाघर, हाथीपोल, अंबामाता, सूरजपोल, भुपालपुरा और सवीना थाना क्षेत्र में कर्फ्यू लगाने के साथ पूरे राजस्थान में धारा 144 लागू कर इंटरनेट सेवा बंद करनी पड़ी। प्रशासन को मृतक का शव उठाने के लिए भी कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। घटना के सात घंटे बाद प्रशासन शव को उठाने के लिए परिजनों को मना सका। राज्य सरकार ने पीड़ित परिवार को 31 लाख रुपये का मुआवजा और परिवार के दो लोगों को संविदा पर नौकरी देने का ऐलान किया है।
उल्लेखनीय है कि राजस्थान के उदयपुर में भाजपा से निलंबित नूपुर शर्मा के समर्थन में कुछ दिन पूर्व सोशलमीडिया पर पोस्ट डालने पर मंगलवार को कन्हैयालाल की मंगलवार को दिनदहाड़े हत्या कर दी गई थी। हमलावर ने उसकी दुकान में घुसकर तलवार से उसकी हत्या कर दी। हमलावरों ने घटना के बाद सोशल मीडिया पर पोस्ट डालकर हत्या की जिम्मेदारी भी ली है।
उदयपुर में युवक की निर्मम हत्या मामले में राज्य सरकार सतर्कता बरत रही है। राज्य सरकार ने इस घटना की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया है, जिसमें एसओजी एडीजी अशोक राठौड़, एटीएस आईजी प्रफुल्ल कुमार और एक एसपी व एडिशनल एसपी को शामिल किया गया है। पुलिस ने हत्या के दोनों आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया है। दोनों आरोपित उदयपुर के सूरजपोल इलाके के रहने वाले हैं। घटना के बाद प्रदेश में आगामी 24 घंटे लिए इंटरनेट सेवाएं निलंबित कर धारा 144 लगा दी गई है। तनाव की स्थिति को देखते हुए उदयपुर के सात थाना क्षेत्रों में कर्फ्यू लगाया गया है।
हत्या मामले में दोनों आरोपित गिरफ्तार
पुलिस ने हत्या मामले में आरोपित गोस मोहम्मद पुत्र रफीक मोहम्मद और रियाज पुत्र अब्दुल जब्बार को राजसमंद जिले के भीम से गिरफ्तार किया है। दोनों ही आरोपित उदयपुर के सूरजपोल क्षेत्र के रहने वाले हैं।घटना के बाद से उदयपुर के सात थाना क्षेत्रों धानमंडी, घंटाघर, हाथीपोल, अंबामाता, सूरजपोल, भुपालपुरा और सवीना में कर्फ्यू लगाया गया है। घटनास्थल के पास मुस्लिम मौहल्ले की छतों से पथराव भी हुआ है।
उल्लेखनीय है कि राजस्थान के उदयपुर में भाजपा से निलंबित नूपुर शर्मा के समर्थन में कुछ दिन पूर्व सोशलमीडिया पर पोस्ट डालने पर मंगलवार को कन्हैयालाल की मंगलवार को दिनदहाड़े हत्या कर दी गई। हमलावर ने उसकी दुकान में घुसकर तलवार से उसकी हत्या कर दी। हमलावरों ने घटना के बाद सोशल मीडिया पर पोस्ट डालकर हत्या की जिम्मेदारी भी ली है। गोवर्धन विलास इलाके के रहने वाले कन्हैयालाल (40) की यहां धानमंडी स्थित भूतमहल के पास सुप्रीम टेलर्स नाम से दुकान है।
पता चला है कि कन्हैयालाल ने पिछले दिनों सोशल मीडिया पर एक पोस्ट वायरल की थी, जिसको लेकर समुदाय विशेष के एक पक्ष में गहरी नाराजगी थी। पुलिस ने कन्हैयालाल को गिरफ्तार भी किया था लेकिन वह जमानत पर था। उसने अपनी जान का खतरा होने की अर्जी भी थाने में दी थी। उसके बाद पुलिस ने दोनों पक्षों को बैठाकर सुलह-समझौता करा दिया। कुछ दिन तक कन्हैयालाल ने दुकान बंद रखी थी लेकिन स्थिति सामान्य होती मानकर वह आज दुकान पर पहुंचा था। घटना की पक्ष और विपक्ष के नेताओं ने एक स्वर में भर्त्सना की है। घटना के बाद से ही देश में सोशल मीडिया पर कड़ी प्रतिक्रियाएं आ रही हैं। (एजेंसी)
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