पोर्ट लुइस (Port Louis)। अयोध्या (Ayodhya) में 22 जनवरी को राम मंदिर के उद्घाटन (Inauguration of Ram temple) को लेकर दुनियाभर में उत्साह है। इस बीच, मॉरीशस सरकार (Mauritius Government) ने हिंदू सरकारी कर्मचारियों (Hindu government employees) के लिए 22 जनवरी को दो घंटे की विशेष छुट्टी (giving special leave of two hours) देने की घोषणा (Announcement) की है। इस फैसले से मॉरीशस में हिंदू सरकारी कर्मचारी 22 जनवरी को रामलला के प्राण प्रतिष्ठा समारोह के साक्षी बन सकेंगे। यह विशेष छुट्टी दोपहर दो बजे से दो घंटे तक रहेगी। मॉरीशस में 48.5% आबादी हिंदू है। मॉरीशस के पीएम प्रविंद जुगनाथ ने कहा कि यह भावनाओं और परंपराओं के सम्मान का छोटा सा प्रयास है।
प्रधानमंत्री प्रविंद जुगनाथ (Prime Minister Pravind Jugnauth) के नेतृत्व में मॉरीशस कैबिनेट ने शुक्रवार को एक आधिकारिक बयान में कहा कि भारत के अयोध्या में राम मंदिर के उद्घाटन को देते हुए कैबिनेट ने सोमवार 22 जनवरी 2024 को दोपहर दो बजे से दो घंटे की विशेष छुट्टी देने पर सहमति जताई है। यह एक ऐतिहासिक घटना है, क्योंकि यह अयोध्या में भगवान राम की वापसी की तरह है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 22 जनवरी को अयोध्या में नवनिर्मित भव्य राम मंदिर के गर्भगृह में रामलला की मूर्ति की स्थापना में शामिल होंगे। राम मंदिर के उद्घाटन समारोह के लिए सभी क्षेत्रों के कई नेताओं और हस्तियों को आमंत्रित किया गया है। प्राण-प्रतिष्ठा समारोह में 50 से अधिक देशों के गणमान्य व्यक्तियों के भी शामिल होने की उम्मीद है।
कांची के शंकराचार्य विजयेंद्र ने प्राण प्रतिष्ठा का किया समर्थन
कांची कामकोटि मठ के शंकराचार्य विजयेंद्र सरस्वती ने कहा कि भगवान राम के आशीर्वाद से ही प्राण प्रतिष्ठा समारोह होने जा रहा है। इस दौरान यज्ञशाला का पूजन होगा। काशी के 100 से अधिक विद्वान यज्ञशाला के पूजन और हवन का कार्य शुरू करेंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सराहना करते हुए उन्होंने कहा कि पीएम भारत के तीर्थस्थलों के विकास पर विशेष भरोसा रखते हैं। पीएम ने केदारनाथ और काशी विश्वनाथ मंदिरों के परिसरों को भी भव्य आकार रूप दिया है।
नामचीन शख्सियतों के साथ 300 श्रमिक व भिक्षुक होंगे मेहमान
रामलला के प्राण प्रतिष्ठा समारोह में समाज के हर विशिष्ट व सामान्य वर्ग का प्रतिनिधित्व होगा। सात हजार से कुछ अधिक मेहमानों में चार हजार धर्माचार्यों के अलावा तीन हजार से अधिक गृहस्थ विभिन्न श्रेणियों में वर्गीकृत किए गए हैं। बड़ी संख्या में नामचीन शख्सियतों के साथ ही मंदिर के सृजन में सहभागी 300 श्रमिक व दान देने वाले भिक्षुक भी अतिथि के तौर पर मौजूद रहेंगे। 50 के करीब पद्म सम्मानों से विभूषित हस्तियां आएंगी।
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