नई दिल्ली। प्रधानमंत्री के आंध्र प्रदेश के विभाजन को लेकर दिए गए बयान पर आपत्ति जताते हुए तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) सांसद केशव राव ने राज्यसभा में नरेंद्र मोदी के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया है। टीआरएस इस पर चर्चा की मांग करते रहे।
उपसभापित हरिवंश ने बताया कि उनका नोटिस सभापति के पास विचाराधीन है और उनका निर्णय आना बाकी है। उपसभापित के लगातार समझाने के बाद भी टीआरएस सांसद सदन में अपने नोटिस पर चर्चा को लेकर शोरशराबा करते रहे जिसके चलते शून्यकाल बाधित रहा। टीआरएस की इस मांग का कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी दलों ने भी समर्थन किया।
सदन में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने टीआरएस का समर्थन करते हुए आंध्र प्रदेश पुनर्गठन पर प्रधानमंत्री की टिप्पणी पर आपत्ति जताई। उन्होंने कहा कि सांसदों की मांग को सुना जाना चाहिए।
शोर शराबे पर पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने व्यवस्था का सवाल उठाया। उन्होंने कहा कि जब आसन पर बैठा व्यक्ति खड़ा हो तो सभी सदस्यों को अपनी सीट पर बैठ जाना चाहिए। उपसभापति खड़े थे और इसी बीच विपक्ष के नेता भी बोल रहे थे।
क्या कहा था पीएम ने
प्रधानमंत्री ने 8 फरवरी को सदन में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान कहा था कि कांग्रेस सरकार ने बहुत शर्मनाक तरीके से आंध्र प्रदेश का विभाजन किया था। उन्होंने कहा था कि माइक बंद कर दिए गए। मिर्च स्प्रे की गई और कोई चर्चा नहीं हुई। उन्होंने सवाल उठाया था कि क्या ये तरीका ठीक था और यही लोकतंत्र था।
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