कल यानि 09 मार्च को है विजया एकादशी (Vijaya Ekadashi) व्रत इस व्रत में भगवान विष्णु की संपूर्ण विधि विधान से पूजा की जाती है । मान्यता के अनुसार फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि को यह व्रत किया जाता है, इस व्रत का महत्व पद्म और स्कन्द पुराण में भी वर्णन मिलता है। विजया एकादशी (Vijaya Ekadashi) व्रत करने से परेशानियों से छुटकारा मिलता है और हर मनोकामना पूरी होती है। विजया एकादशी (Vijaya Ekadashi) व्रत इसलिए भी अधिक महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह महाशिवरात्रि से दो दिन पहले रखा जाता है। धार्मिक मान्यता है कि अगर कोई व्यक्ति सच्चे हृदय से इस व्रत का पालन करता है तो भगवान विष्णु (Lord vishnu) उसकी समस्त प्रकार की मनोकामनाएं पूर्ण करते हैं और उसे हर क्षेत्र में विजय प्राप्ति का आशीर्वाद देते हैं।
विजया एकादशी व्रत मुहूर्त
एकादशी तिथि आरंभ- 08 मार्च 2021 दिन सोमवार दोपहर 03 बजकर 44 मिनट से
एकादशी तिथि समाप्त- 09 मार्च 2021 दिन मंगलवार दोपहर 03 बजकर 02 मिनट पर
विजया एकादशी (Vijaya Ekadashi) पारणा मुहूर्त- 10 मार्च को सुबह 06:37:14 से 08:59:03 तक।
ऐसे करें पूजा अर्चना
– व्रत के एक दिन पहले (8 मार्च, सोमवार) शाम को सयंमपूर्वक भोजन करें और रात में ब्रह्मचर्य का पालन करें। एकादशी की सुबह स्नान आदि करने के बाद भगवान विष्णु की मूर्ति एक साफ स्थान पर स्थापित करें।
– इसके बाद भगवान विष्णु (Lord vishnu) को पूजा करें। गाय के शुद्ध घी का दीपक जलाएं। चंदन, फूल, अबीर, गुलाल, चावल आदि चढ़ाएं। फल और अन्य पकवानों का भोग लगाएं। भोग में तुलसी के पत्ते जरूर डालें।
– दिन भर कुछ खाएं नहीं, संभव न हो तो एक समय फलाहार कर सकते हैं। रात में सोए नहीं, भगवान के भजन करें और मंत्रों का जाप करें।
– अगले दिन (10 मार्च, बुधवार) को पुन: भगवान विष्णु (Lord vishnu) की पूजा करें और ब्राह्मणों को भोजन कराएं। इसके बाद ब्राह्मणों को दान और दक्षिणा देकर सम्मान विदा करें।
– बाद में स्वयं भोजन कर व्रत पूर्ण करें। इस तरह विधि-विधान से व्रत करने से हर काम में सफलता मिलती है।
विजया एकादशी (Vijaya Ekadashi) पर गाय के दूध में केसर मिलाकर विष्णु प्रतिमा (Vishnu statue) का अभिषेक करें। ये उपाय करते समय विष्णु सहस्त्रनाम (Vishnu Sahasranama) का पाठ भी करें। इस उपाय से आपकी हर मनोकामना पूरी हो सकती है।
नोट- उपरोक्त दी गई जानकारी व सूचना सामान्य उद्देश्य के लिए दी गई है। हम इसकी सत्यता की जांच का दावा नही करतें हैं यह जानकारी विभिन्न माध्यमों जैसे ज्योतिषियों, धर्मग्रंथों, पंचाग आदि से ली गई है । इस उपयोग करने वाले की स्वयं की जिम्मेंदारी होगी ।
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