भोपाल। गांधी नगर इलाके में रहने वाले साठ साल के वृद्ध ने मंगलवार को अपने घर में फांसी लगाकर खुदकुशी कर ली। पुलिस को उनके पास से सुसाइड नोट मिला है। जिसमें उन्होंने बेटे और बहू को खुदकुशी के लिए जिम्मेदार बताया है। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। मामले में मर्ग कायम कर जांच शुरु कर दी है।
एसआई रमाशंकर दिवेदी के अनुसार साठ वर्षीय ज्ञान चंद्र गंगवानी मकान नंबर 1107 शिवाजी वार्ड गांधी नगर के निवासी थे। पूर्व में वह कबाड़े का कारोबार करते थे। फिलहाल वह सरकारी पेंशन से अपना गुजारा चला रहे थे। उनके तीन बेटे हैं, दो बेटे उन्हीं के मकान में दो फ्लोर पर रहते अलग-अलग रहते हैं। जबकि ग्राउंड फ्लोर पर वह स्वयं रहते थे। वहीं एक बेटे को उन्होंने पास में ही मकान दिला रखा जिसमें वह परिवार के साथ रहता है। परिजनों ने पुलिस को बताया कि कल सुबह ज्ञानचंद्र का शव उन्होंने घर के ग्राउंड फ्लोर में स्थित एक कमरे में फांसी के फंदे पर लटका देखा और पुलिस को सूचना दी। सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए रवाना किया। कमरे की सर्चिंग में पुलिस को एक सुसाइड नोट मिला है। जिसमें वृद्ध ने खुदकुशी के लिए बीच वाले बेटे और बहू को जिम्मेदार बताया है। उन्होंने लिखा की बेटे बहू उन्हें प्रताडि़त करते हैं, खाना नहीं देते, अभद्रता करते हैं।
बहू भी लगा चुकी है प्रताणना का आरोप
विरोध करने पर पूर्व में उनकी बहू उनपर प्रताडऩा का झूठा मुकदमा दर्ज करा चुकी है। तब से ही विरोध करने पर आए दिन उनके साथ बदसलूकी की जाती है। घर से निकलजाने का दबाव बनाया जाता है। वृद्ध ने लिखा की जिन्दगी भर की कमाई उन्होंने बच्चों में लगा दी, उनके रहने के लिए मकान बनाकर दिए। बदले में उन्हें बुड़ापे में बदहाली और सरकारी पेंशन से गुजारा चलाना पड़ रहा है। जिस कारण वह जान दे रहे है, जिसकी पूरी जिम्मेदारी बीच वाले बेटे और बहू की है। वहीं एसआई ने बताया कि आज मृतक के परिजनों को बयानों के लिए बुलाया गया है, जिसके बाद आगे की कार्रवाई तय की जाएगी।
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