- एक बैंक को 10 दिन की जवाबदारी-इस तरह तीन बैंक 30 दिन तक करती है गिनती-महाकाल मंदिर सहित बैंक के 15 से 20 कर्मचारी लगते हैं
उज्जैन। महाकाल मंदिर में लगी दान पेटियों में श्रद्धालुओं द्वारा हर रोज प्राप्त होने वाली दान राशि को गिनने के लिए मंदिर प्रबंध समिति द्वारा तीन बैंकों को अधिकृत किया गया है। एक बैंक द्वारा 10 दिन दान पेटी से निकली राशि की गिनती की जाती है।
विश्व प्रसिद्ध ज्योतिर्लिंग बाबा महाकाल के दरबार में देश ही नहीं विदेश से भी श्रद्धालु आशीर्वाद लेने उज्जैन पहुँचते हैं। उज्जैन पहुँचने वाले श्रद्धालु अपनी मनोकामना मांगते हैं और महाकाल के दरबार में अपनी श्रद्धा अनुसार भेंट चढ़ाते हैं। श्रद्धालुओं की सुविधाओं के लिए भेंट देने के लिए मंदिर में अलग-अलग व्यवस्थाएं की गई हैं जिनमें ऑनलाइन सुविधा, कैश काउंटर सुविधा एवं दान पेटी भी मंदिर परिसर और अन्न क्षेत्र पर रखी गई हैं। इन सभी स्थानों पर मिलने वाली भेंट राशि को प्रतिदिन बैंक में जमा किया जाता है। इसी तरह महाकाल मंदिर के पूरे क्षेत्र में प्रबंध समिति द्वारा महाकाल मंदिर सहित मंदिर परिसर में बने अन्य मंदिर एवं अन्न क्षेत्र में कुल 110 दान पेटियाँ लगी हैं। यह सभी दान पेटियाँ प्रतिदिन खोली जाती हैं और इन दान पेटियों से निकलने वाले रुपए बैंक में जमा किए जाते हैं। मंदिर प्रबंध समिति की ओर से दान पेटियों से निकलने वाली राशि को जमा करने के लिए तीन बैंकों को अधिकृत किया गया है। प्रबंध समिति द्वारा यह काम इंडियन बैंक, यूनियन बैंक एवं बैंक ऑफ इंडिया द्वारा किया जाता है। प्रतिदिन बैंक की ओर से 10 से 15 कर्मचारियों के साथ एक बैंक अधिकारी और इनके साथ मंदिर प्रबंध समिति के कर्मचारी और सुरक्षा गार्ड होते हैं। इनके द्वारा दान पेटी खोली जाती है और फिर एक स्थान पर सभी दान पेटियों से निकलने वाली राशि को जमाकर गिनती की जाती है। समिति द्वारा अधिकृत तीन बैंक 10-10 दिन तक दान पेटियों से निकलने वाली राशि की गिनती कर अपनी बैंक में जमा करती हैं और फिर मंदिर प्रबंध समिति द्वारा आवश्यकता अनुसार इन राशियों को निकाला जाता है।