नई दिल्ली: इस रिपोर्ट में हम प्रधानमंत्री वय वंदना योजना (PMVVY) की बात करेंगे. यदि आप रिटायर्ड कर्मचारी हैं या रिटायर होने वाले हैं और पीएम वय वंदना योजना से जुड़ना चाहते हैं, तो आपके लिए एक महत्वपूर्ण जानकारी है. 1 अप्रैल 2022 को इस स्कीम की ब्याज दर निर्धारित होनी है. हो सकता है इसमें बदलाव भी हो. पीएमवीवीवाई में साल 2020 में कुछ बदलाव किए गए थे जिसमें इसके ब्याज दर के बारे में बताया गया था.
नए बदलाव के मुताबिक पीएमवीवीवाई की ब्याज (PMVVY interest rate) दर हर साल निर्धारित होगी. यह दर वही होगी जो सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम (SCSS) की रिवाइज रेट होगी. सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम की ब्याज दर का ऐलान 31 मार्च 2022 को होना है. इसका अर्थ हुआ कि उसकी दर में कोई फेरबदल होता है, तो पीएमवीवीवाई के दर में भी बदलाव देखा जाएगा.
2020 में सरकार की ओर से जारी एक बयान में कहा गया कि पीएम वय वंदना योजना में शुरुआती ब्याज दर सालाना 7.4 फीसदी रखने की अनुमति दी गई है और इसके बाद हर साल इसकी दरें रीसेट होंगी. हर वित्त वर्ष में 1 अप्रैल को दरों में बदलाव हो सकता है और यह दर सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम के मुताबिक निर्धारित होगी. इसकी अधिकतम सीमा 7.75 फीसदी तय है. इस हिसाब से 31 मार्च को सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम पर जो भी ब्याज दर तय करेगी, वही ब्याज पीएम-वय वंदना योजना के लिए भी लागू मानी जाएगी.
ब्याज दर का क्या है नियम
एक जरूरी बात और ध्यान रखना है कि पीएमवीवीवाई स्कीम 31 मार्च 2023 तक वैध है. इसी तारीख तक इस स्कीम की बिक्री भी होगी. वित्त वर्ष 2021-22 के लिए पीएमवीवीवाई स्कीम पर सालाना 7.4 फीसदी ब्याज मिलेगा. पेंशन की यह निर्धारित दर 31 मार्च, 2022 तक खरीदी गई सभी पॉलिसियों के लिए 10 वर्ष की पूरी पॉलिसी अवधि के लिए दी जाएगी. PMVVY योजना ग्राहकों को 10 वर्षों के लिए 7% से 9% की दर से सुनिश्चित रिटर्न देती है. (सरकार तय करती है और रिटर्न की दर में बदलाव करती है). 10 साल की पॉलिसी अवधि पूरी होने के बाद पूरी राशि (अंतिम पेंशन और खरीद मूल्य सहित) का भुगतान किया जाएगा.
पीएम-वय वंदना योजना में ग्राहक को साल के अंत में पेंशन दी जाती है. पेंशन कब चाहिए, इसका चयन ग्राहक को पहले ही करना होता है. जैसे मासिक, तिमाही, छमाही या सालाना. ग्राहक जिस विकल्प का चयन करता है, उसे पूरे दस साल के लिए लागू किया जाता है. यदि पॉलिसी की अवधि के भीतर ग्राहक की मृत्यु हो जाती है, तो लाभार्थी (नॉमिनी) को खरीद मूल्य के साथ भुगतान किया जाएगा. समय से पहले इस स्कीम को बंद भी कर सकते हैं, लेकिन अपवाद की स्थिति में इसे रखा गया है. ग्राहक या उसकी पत्नी/पति की गंभीर रूप से तबीयत खराब होने पर पीएमवीवीवाई का पैसा मैच्योरिटी से पहले निकाला जा सकता है. पॉलिसी के खरीद मूल्य का 98 परसेंट पैसा सरेंडर वैल्यू के रूप में ग्राहक को दे दिया जाता है.
ऑनलाइन कैसे खरीदें PMVVY पॉलिसी
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