आगरा। कोरोना के कारण पिछले छह महीने से बंद ताजमहल और आगरा के किले को पर्यटकों के लिए खोल दिया गया। सोमवार से ताजमहल और आगरा किले के दरवाजे सैलानियों के लिए खुल गए। सैलानी ताजमहल पहुंचने के बाद बोले वाह ताज। सोमवार सुबह सूर्योदय पर दोनों स्मारकों के गेट खुले। ताजमहल पर सैलानियों की थर्मल स्क्रीनिंग की गई इसके बाद उन्हें प्रवेश दिया गया। इसके साथ ही कारोबारियों के चेहरे भी खिल गए हैं उनका कामकाज वापस पटरी पर लौटेगा। कोरोना संक्रमण के कारण विगत 17 मार्च से ताजमहल और आगरा किले के दरवाजे बंद थे। फतेहपुर सीकरी, सिकंदरा, रामबाग, महताब बाग जैसे छह स्मारक एक सितंबर से पर्यटकों के लिए खोले जा चुके हैं।
372 साल के ताजमहल के इतिहास में पहली बार यह छह महीने तक सैलानियों के लिए बंद रहा है। सोमवार सुबह सूर्योदय पर ताजमहल खुला यहां सैलानियों ने डायना बेंच पर फोटो खिंचाए साथ ही ताजमहल को अपने मोबाइलों में कैद किया। भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण ने ताजमहल में एक दिन में पांच हजार और आगरा किले में ढाई हजार पर्यटकों को प्रवेश की मंजूरी दी है। स्मारकों का दीदार करने के लिए टिकट खिड़की को बंद रखा गया है। ऑनलाइन बुकिंग चालू है। स्मारकों पर आने वाले सैलानियों ने क्यूआर कोड स्कैन कर टिकट लिया। ताजमहल और आगरा किला पर आए सैलानी मास्क पहनकर आए। वहीं ताजमहल के प्रबंधन में लगे कर्मचारियों ने भी फेस शील्ड और दस्तानों को पहनकर कोविड-19 प्रोटोकॉल का पालन किया।
सोमवार को ताजमहल पर्यटकों के लिए खोले जाने के बाद इससे जुड़े करीब चार लाख लोगों की जिंदगी में उम्मीदों का नया सवेरा हुआ। लंबे समय से बेकार पड़े हाथों को फिर रोजगार मिलेगा। मार्बल इनले, जरदोजी, रेस्त्रां जैसे कारोबार एक बार फिर पहले जैसे खड़े हो सकेंगे। होटल उद्यमी, फोटोग्राफर, गाइड भी मोहब्बत की निशानी में पर्यटकों का स्वागत करने को तैयार हैं। 188 दिन बाद ताज का दीदार फिर से शुरू हुआ है।
आगरा में मार्बल इनले, जरदोजी, रेस्त्रां तीनों ही कारोबार काफी हद तक पर्यटन पर निर्भर हैं। खासतौर पर मार्बल इनले और जरदोजी। दोनों से औसतन दो लाख लोग रोजगार पाते हैं। लगभग 535 करोड़ रुपये का कारोबार मिलता है। कुछ ऐसा ही रेस्त्रां कारोबार के साथ है। शहर में औसतन 500 रेस्त्रां हैं जिनमें देसी-विदेशी पर्यटकों का आवागमन बना रहता है।
जरदोजी एसोसिएशन के संस्थापक फैजानुद्धीन ने कहा कि ताजमहल खुलने से उद्योग जगत में फैली नकारात्मकता कम होगी। जरदोजी उद्योग से जुड़े 50 हजार लोगों को फायदा पहुंचेगा। शहर में ऐसे करीब 100 शोरूम हैं, जहां पर्यटकों का आवागमन बढे़गा। 35 करोड़ रुपये का कारोबार मिलेगा।
हैंडीक्राफ्ट एक्सपोर्टर एसोसिएशन के अध्यक्ष रजत अस्थाना ने कहा कि मार्बल इनले उद्योग से प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से जुड़े लगभग एक लाख लोगों को फायदा मिलेगा। पच्चीकारी, सादेकारी, कार्विंग जैसे काम शुरू हो सकेंगे। करीब 500 करोड़ का कारोबार हो सकता है। हालांकि हालात सामान्य करने के लिए अंतर्राष्ट्रीय उड़ानें शुरू की जानी जरूरी है।
होटल एंड रेस्टोरेंट एसोसिएशन के अध्यक्ष राकेश चौहान ने कहा कि मौजूदा परिस्थितियां कारोबार के लिए अनुकूल नहीं कही जा सकती। क्योंकि महामारी लगातार बढ़ रही। वहीं, स्मारक खुलने से शहरभर के लगभग 500 रेस्त्रां को ग्राहक मिलने की उम्मीद है। इनसे प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष तौर पर औसतन दो लाख लोगों को रोजगार जुड़ा है। बीते छह माह 50 करोड़ का नुकसान हो चुका है।
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