इंदौर। संपत्ति का पंजीयन करने वाले मोती तबेला के मुख्य कार्यालय में जल्द ही संगीत की स्वर लहरी गूंजना शुरू हो जाएगी। इस कार्यालय के परिसर में साउंड सिस्टम लगाया जाएगा। इस साउंड सिस्टम पर लता मंगेशकर, मन्ना डे, आशा भोंसले, किशोर कुमार, मुकेश के गाने सुनाए जाएंगे।शहर में रियल इस्टेट के बढ़ते कारोबार के साथ ही नागरिकों को अपनी खरीदी गई संपत्ति की रजिस्ट्री करने में दिक्कत नहीं आए इसके लिए शहर में अलग-अलग स्थान पर पंजीयन कार्यालय खोल दिए गए हैं। मुख्य पंजीयन कार्यालय अभी भी मोती तबेला में कलेक्टर कार्यालय के पीछे ही स्थित है।
इस मुख्य कार्यालय पर बड़ी संख्या में नागरिक अपनी संपत्ति का पंजीयन करवाने के लिए आते हैं। इन नागरिकों को कार्यालय में आने के बाद भी काफी समय तक अपना नंबर आने और सर्वर डाउन हो जाने की स्थिति में सरवर के वापस चालू होने का इंतजार करना पड़ता है। ऐसे में यह लोग पंजीयन कार्यालय में बैठे हुए परेशान होते रहते हैं। इन लोगों के पास समय काटने के लिए कुछ भी नहीं होता है। ऐसे में अमूमन व्यक्ति अपने मोबाइल में ही व्यस्त हो जाता है।
इस स्थिति को देखते हुए पंजीयन कार्यालय के अधिकारियों द्वारा अब लोगों को बोर होने से बचाने का तरीका ईजाद किया गया है। इसके तहत अब मोती तबेला के पंजीयन कार्यालय में साउंड सिस्टम लगाया जा रहा है। इस साउंड सिस्टम पर सुबह से लेकर शाम तक अलग-अलग समय पर अलग-अलग गाने बजा करेंगे। इसमें खासतौर पर इस बात पर ध्यान दिया जाएगा कि गाने सारे पुराने ही बजाए जाएं। इसके लिए पंजीयन कार्यालय में विवेक हृदय को प्रभारी बनाया गया है। उन्हें यह जिम्मेदारी सौंपी गई है कि कार्यालय में साउंड सिस्टम लगाकर उस पर गानों का प्रसारण सुनिश्चित करें। इसके लिए पंजीयन कार्यालय में तैयारी शुरू हो गई है। कोशिश यह की जा रही है कि अगले महीने में संगीत की स्वर लहरी इस कार्यालय के परिसर में गूंजना शुरू हो जाए।
प्रयोग के रूप में कर रहे हैं शुरुआत
इस बारे में जब पंजीयन कार्यालय के अधिकारियों से बात की गई तो उनका कहना था कि यह शुरुआत प्रयोग के रूप में की जा रही है। यदि मोती तबेला के कार्यालय में यह प्रयोग सफल रहता है तो इंदौर शहर में विभिन्न क्षेत्रों में बनाए गए सभी पंजीयन कार्यालय में इस प्रयोग को निरंतर कर दिया जाएगा। इससे नागरिकों को कार्यालय के अंदर बैठकर अपना वक्त काटने में मुश्किल नहीं आएगी।
प्रदेश में पहली बार होगा ऐसा
पूरे मध्यप्रदेश में किसी भी शहर में पंजीयन कार्यालय में इस तरह संगीत या गाने बजाने की व्यवस्था नहीं की गई है। इंदौर में प्रदेश में पहली बार ही इस तरह की व्यवस्था को लागू किया जा रहा है। पूरे प्रदेश में सबसे ज्यादा राजस्व इंदौर के ही पंजीयन कार्यालय द्वारा दिया जाता है।
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