भोपाल। मंत्रालय कर्मचारी संघ पूरी तरह से दो फाड़ हो गया है। संघ के निर्वाचन नियमों की धमकर धज्जियां उड़ रही है। 20 दिन के भीतर आज संघ के दूसरी बार चुनाव हो रहे हैं, लेकिन अभी तक यह तय नहीं हो पाया है कि पिछले महीने आयोजित चुनाव वैध थे या फिर आज हो रहे चुनाव अवैध हैं। मंत्रालय में कर्मचारी संघ के पदाधिकारियों द्वारा चुनाव प्रचार की आड़ में मचाए जा रहे हो-हल्ला से तंग आकर अपर मुख्य सचिव जीएडी ने संघ के दोनों गुटों की बैठक बुलाई। चुनाव पर कोई निर्णय नही हुआ। ऐसे में यह पूरी संभावना है कि अब मंत्रालय कर्मचारी संघ का चुनाव पंचायत, नगरीय निकाय एवं अन्य संगठन और इकाइयों की तरह कोर्ट पहुंच सकता है।
कर्मचारी चिकरघिन्नी
मंत्रालय कर्मचारी संघ के चुनाव से पहले दोनों गुट सक्रिय रहे। सरदार पटेल पैनल मंत्रालय में कर्मचारियों से वोट मांग रहा, जबकि सुभाष चंद्र पैनल की ओर से चुनाव में भाग हीं लेने की अपील की है। दोनों गुटों ने पर्चें भी बंटवाएं है। जिसमें सरदार पटेल पर कर्मचारियों के साथ छलावा और गुमराह करने के आरोप लगाए हैं।
पंजीयन ने रोक से किया इंकार
एसीएस जीएडी विनोद कुमार द्वारा बुलाई गई बैठक में कर्मचारी नेताओं के अलावा पंजीयक फम्र्स एवं संस्थाएं आलोक नागर, सहायक पंजीयक फम्र्स एवं संस्थाएं भोपाल संभाग कुरैशी, सचिव सामान्य प्रशासन विभाग श्रीनिवास शर्मा, उप सचिव (कर्मचारी कल्याण) माधवी नागेंद्र, साप्रवि एवं मुख्य सुरक्षा अधिकारी विश्वास भटेले उपस्थित थे। बैठक में पंजीयन ने चुनाव पर रोक लगाने से इंकार किया। हालांकि दोनों गुटों को पंजीयन के सामने 17 तक जवाब देना है। जिसमें रिकॉर्ड, बैंक खाते समेत अन्य जानकारी शामिल है। यह जानकारी सरदार पटेल पैनल को ही देना है। सूत्रों का कहना है कि मंत्रालय कर्मचारी संघ का चुनाव उलझ गया है। अब मामला कोर्ट पहुंचेगा।
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