नीदरलैंड। नीदरलैंड के राजा विलेम-अलेक्जेंडर ने शनिवार को दासता उन्मूलन की वर्षगांठ पर गुलामी और दास व्यापार में देश की ऐतिहासिक भूमिका के लिए माफी मांगी। उन्होंने कहा कि मैं व्यक्तिगत तौर पर इसके लिए मांफी मांग रहा हूं। बता दें, पिछले साल के अंत में नीदरलैंड के प्रधानमंत्री मार्क रुटे ने भी माफी मांगी थी।
राजा अलेक्जेंडर ने अपने भावनात्मक भाषण में कहा कि आज मैं आपके सामने खड़ा हूं। इस मौके पर मैं आपके राजा के रूप में, सरकार के सदस्य के रूप में और स्वयं यह माफी मांगता हूं। उन्होंने आगे कहा कि मैं अपने दिल एवं आत्मा में शब्दों का भार महसूस करता हूं। वहीं, दक्षिण अमेरिकी देश सूरीनाम और कैरेबियाई द्वीपों अरूबा, बोनेयर और कुराकाओ के हजारों गुलामों के वंशजों ने शाही माफी का स्वागत किया। हालांकि, इनमें से कई लोगों कहना था कि उन्हें माफी के साथ मुआवजा भी दिया जाए।
राजा ने नीदरलैंड में गुलामी में ऑरेंज-नासाउ के शाही घराने की सटीक भूमिका पर एक अध्ययन शुरू किया है। उन्होंने कहा कि आज स्मरण के इस दिन, मैं मानवता के खिलाफ इस अपराध के सामने कार्रवाई करने में स्पष्ट विफलता के लिए माफी मांगता हूं। एम्स्टर्डम पार्क में देश के राष्ट्रीय गुलामी स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित करने से पहले अपना भाषण पूरा करते समय विलेम-अलेक्जेंडर की आवाज भावनाओं से भरी हुई प्रतीत हुई।
उल्लेखनीय है कि एक जुलाई, 1863 को सूरीनाम और कैरेबियन में डच (नीदरलैंड) उपनिवेशों में दासता को समाप्त कर दिया गया था, लेकिन अधिकतर गुलाम मजदूरों को अगले 10 वर्षों तक पौधारोपण पर काम करना जारी रखने के लिए विवश किया गया था। शनिवार के कार्यक्रमों और भाषण के साथ एक जुलाई 1873 से लागू हुए दासता उन्मूलन की 150वीं वर्षगांठ मनाने के लिए साल भर होने वाले कार्यक्रमों की शुरुआत हो गई।
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