भोपाल। शिक्षक पात्रता परीक्षा (Teacher Eligibility Test) पास करने के तीन साल बाद भी नियुक्ति नहीं मिलने से नाराज चयनित शिक्षकों ने प्रदेश भाजपा मुख्यालय (State BJP Headquarters) के बाहर 10 घंटे तक शातिपूर्ण तरीके से धरना प्रदर्शन किया। इस दौरान सरकार की ओर से न तो कोई मंत्री (Minister) पहुंचा और न ही कोई बड़ा अधिकारी पहुंचा। शाम करीब साढ़े छह बजे भोपाल कलेक्टर अवनीश लवानिया (Bhopal Collector Avnish Lavania) और डीआईजी इरशाद वली (DIG Irshad Wali) भारी पुलिस बल के साथ पहुंचे। दोनों अफसरों ने चयनित शिक्षकों के प्रतिनिधियों को बुलाया और 10 मिनट के भीतर धरना खत्म करने को कहा। साथ ही चेताया कि यदि बात नहीं माने तो फिर एफआईआर (FIR) दर्ज की जाएगी। प्रतिनिधियों में महिलाएं भी शामिल थीं। दोनों अफसरों ने महिलाओं को पुलिस बल की भीड़ दिखाते हुए कहा कि आप लोग तो मान जाओ, नहीं फिर अच्छा नहीं रहेगा। इसके बाद महिला प्रतिनिधि डरी-सहमी और आंदोलन खत्म करने केा तैयार हो गईं। हालांकि पुरूष प्रतिनिधि अपनी मांग पर अड़े रहे। बाद में अफसरों ने भारी बल की मदद से सबसे को जबरन खदेड़ दिया। कलेक्टर अविनाश लवानिया (Collector Avinash Lavania) और डीआईजी इरशाद वली (DIG Irshad Wali) ने एफआईआर (FIR) की धमकी दी। जब नहीं माने तो पुलिस वाले एफआईआर (FIR) दर्ज करने के लिए नाम-पते लिखे जाने लगे। साथ ही मोबाइल पर वीडियो भी बनाए गए। इस बीच पुलिस ने जबरन हटाना शुरू कर दिया। कार्रवाई से चलते कई महिलाएं रोने लगी तो एफआईआर (FIR) की बात सुनकर कई पुलिसकर्मियों के सामने हाथ जोडऩे लगी। इस दौरान बारिश भी होने लगी। कई महिलाएं छाता लेकर डटी रहीं, लेकिन जब प्रदर्शनकारियों की भीड़ कम हुई तो उनके हौंसले भी पस्त हो गए। इन्हें चेतावनी दी गई कि यदि नहीं हटे तो एफआईआर (FIR) दर्ज कर ली जाएगी और फिर कहीं भी नौकरी नहीं मिलेगी। यह सुनकर महिलाएं डर गईं और आखिरकर वे हट गईं।
सीएम को राखी बांधने आई महिलाएं पुलिस के आगे गिड़गिड़ाइं
आंदोलन में शामिल महिलाएं अपने साथ राखी एवं अन्य सामग्री साथ लेकर आई थीं। उनका कहना था कि वे रक्षाबंधन पर मुख्यमंत्री को राखी बांधेंगी और उपहार में शिक्षक की नियुक्ति लेंगी। इन महिलाओं की उम्मीदों पर पूूरी तरह से पानी फिर गया। दिन भर धरना करने के बाद भी सरकार का कोई भी नुमाइंदा इनसे मिलने नहीं पहुंचा। पुलिस ने जब जबरन खदेडऩा शुरू किया तब। मुख्यमंत्री को राखी बांधने वाली महिलाएं पुलिस के सामने हाथ जोड़कर गिड़गिड़ाती नजर आईं। वे रोने भी लगी। महिलाओं ने जब वीडयो-फोटो से इनकार किया तो जबरदस्ती की गई।
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