पटना: बिहार के गंगा नदी पर बन रहे बख्तियारपुर-तेजपुर महासेतु का स्पैन गिर गया. इस स्पैन की कीमत करीब 1600 करोड़ रुपये थी. स्पैन गिरने की खबर फैलते ही मौके पर अफरा-तफरी मच गयी. इस पुल का निर्माण नवयुग इंजीनियरिंग कंपनी लिमिटेड द्वारा कराया जा रहा है. घटना समस्तीपुर जिले के पटोरी के नंदनी लगुनिया स्टेशन के पास की है. गंगा नदी पर बन रहे इस पुल के अलावा 45 किलोमीटर लंबा एप्रोच रोड भी बनाया जाना है. इसी एप्रोच रोड के अंतर्गत नंदनी लगुनिया रेलवे स्टेशन के पास पुल का निर्माण कार्य कराया जा रहा था.
इसमें दो पिलर के बीच स्पैन लगाया जा चुका था. इसे कुछ महीने पहले ही लगाया गया था, लेकिन रविवार रात यह गिर गया. इस प्रोजेक्ट को 2011 में शुरू किया गया था और इसे 2016 में पूरा भी कर लिया जाना था, लेकिन इसका काम पूरा नहीं होने पर इसे बढ़ाकर 2018 तक किया गया था. फिर इसे बढ़ाकर 2020 तक किया गया. अभी तक इस महासेतु का करीब 50 प्रतिशत काम ही पूरा हुआ है.
इधर पुल गिरने के बाद सियासत भी तेज हो गयी है. इस घटना के बाद राजद ने तीखी प्रतिक्रिया दी है. पार्टी के प्रवक्ता शक्ति सिंह यादव ने कहा कि बख्तियारपुर ताजपुर गंगा महासेतु निर्माणाधीन पुल के संपर्क पथ का स्पैन गिर गया. यह 1600 करोड़ से भी ज्यादा की लागत से बन रहा है. मुख्यमंत्री कई बार बीजेपी के मंत्री, अधिकारी और इंजीनियर के साथ जाकर इसका निरीक्षण भी किया गया है. भ्रष्टाचार के सबूत उनकी तरफ से फिर से छूट गए हैं. ड्रीम प्रोजेक्ट सुलतानगंज का पुल कई बार गिरा. भ्रष्टाचार रग-रग में है. यह संस्थागत भ्रष्टाचार है. यह विभाग बीजेपी के जिम्मे रहा है.
भ्रष्टाचार की जननी बीजेपी है, जिसका संरक्षण मुख्यमंत्री बेमेल गठबंधन में रहकर, कर रहे हैं. यह भ्रष्टाचार के संस्थागत प्रमाण है या नहीं? कोई महकमा या कोई डिपार्टमेंट ऐसा नहीं है जो भ्रष्टाचार से अछूता न हो. अब कोई इस पर नहीं कुछ कह रहा है. बिहार में सब अचेत हो गया है. अब विश्वास नहीं है कि इनके कार्यकाल में बना कोई पुल वह सुरक्षित है या नहीं? यह खतरे से खाली नहीं है.
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