उज्जैन। सीवरेज प्रोजेक्ट पर काम कर रही टाटा कंपनी द्वारा खोदी गई सड़कें पहले ही कई लोगों की जान ले रही थी लेकिन अब बारिश आने के बाद यह और खतरनाक हो गई है। इनसे बचने के लिए अब नागरिकों को पूरे बरसात के सीजन में अधिक सावधान रहना होगा। 432 करोड़ की लागत से सीवरेज लाईन डाल रही टाटा कंपनी अनुबंध की शर्तों का शुरुआत से ही खुला उल्लंघन कर रही है। नियमानुसार तय शर्त के मुताबिक टाटा कंपनी को 21 दिन के अंतराल में सड़क खोद कर उसमें पाईप लाईन डालकर फिर से बनाने का नियम है। परंतु शहर में अभी तक एक भी ऐसी सड़क नहीं हैं जिसे टाटा कंपनी ने खोदने के बाद इस अवधि में जैसी थी वैसा बना दिया। यही कारण रहा कि पिछले 3 सालों में टाटा की यह लापरवाही कई निर्दोष लोगों की गड्ढों के कारण जान ले चुकी है। कल शाम बरसात के बाद से नए और पुराने शहर में खोदी गई सड़कें और खतरनाक हो गई हैं। ऐसे में नागरिकों को अब खुद इन सड़कों से सावधानी से गुजरना होगा।
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