उज्जैन। महाकाल मंदिर में रुपए लेकर दर्शन, भस्म आरती कराने के मामले में प्रकरण दर्ज होने के बाद फरार आरोपी ने थाने में सरेंडर कर दिया हैं। आरोपी को कोर्ट में पेश कर रिमांड मांगा जाएगा। आरोपी से पूछताछ में कई नए राज के खुलासे हो सकते है। महाकाल मंदिर में रुपए लेकर दर्शन,भस्म आरती कराने के मामले में प्रकरण दर्ज होने के बाद फरार भस्मआरती प्रभारी रितेश शर्मा ने सोमवार को महाकाल थाने में सरेंडर कर दिया। वह इंदौर में फरारी काट रहा था, जिसे उसके परिजन थाने लेकर पहुंचे। पुलिस ने बताया कि रितेश के पास आईटी सेल से सीधे 50 भस्मआरती की अनुमति का अधिकार था। उससे सारी सेटिंग चलती थी। ट्रेवल्स और फूल बेचने वालों के जरिए इस अनुमति की सेटिंग होती थी। महाकाल पुलिस ने बताया कि मंगलवार को आरोपी रितेश को कोर्ट में पेश कर रिमांड मांगा जाएगा। रितेश से पूछताछ में नए खुलासे और आरोपियों की संख्या बढऩे की पूरी संभावना है।
पूछताछ में जुडती जा रही है आरोपियों की कडी..
बता दें कि महाकाल मंदिर के सफाई निरीक्षक विनोद चौकसे और मंदिर दर्शन प्रभारी राकेश श्रीवास्तव सबसे पहले पकड़ में आए थे, जिन पर धोखाधड़ी व अमानत में खयानत का केस दर्ज कराया था। पूछताछ में दोनों ने नंदी हॉल दर्शन प्रभारी राजेंद्रसिंह सिसोदिया, सत्कार अधिकारी अभिषेक भार्गव समेत आईटी प्रभारी राजकुमार सिंह व गार्ड ओमप्रकाश माली और जितेंद्र परमार का नाम लिया था, जबकि रितेश शर्मा पुलिस कार्रवाई की भनक लगते ही 26 दिसंबर की रात से फरार हो गया था। महाकाल थाना पुलिस ने जिन सात आरोपियों को गिरफ्तार किया था, उनमें सत्कार अधिकारी अभिषेक भार्गव से लेकर अन्य ने भस्मआरती प्रभारी रितेश को लेकर बहुत कुछ जानकारी दी थी, ये भी बताया था कि उसके पास जो दर्शन के सीधे 50 पास अर्थात टिकट बनवाने का अधिकार था।
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