श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर (Jammu-Kashmir) में आतंक का खूनी खेल चल रहा है. आतंकी सेना की कार्रवाई (Army Action) से इतने बौखला गए हैं कि आम नागरिकों को, गैर कश्मीरियों को अपना निशाना बना रहे हैं. जम्मू कश्मीर में सेना (Indian Army) के ऑपरेशन ऑलआउट (Operation All Out) से बौखलाए आतंकी लगातार आम लोगों को अपनी गोली का निशाना बना रहे हैं. पहले गैर हिंदुओं को अपना निशाना बनाया और फिर गैर कश्मीरियों को.
शनिवार को एक बार फिर आतंकियों ने दो अलग-अलग जगहों पर आम लोगों की गोली मारकर हत्या (Shot dead) कर दी. आतंक के क्रूर हाथों से मारे गए इन सभी का गुनाह इतना था कि वो पाकिस्तान (Pakistan) समर्थक या कहें कि आतकंवाद(terrorism) के समर्थक नहीं थे. अब कश्मीर में आतंकी टारगेट किलिंग पर उतारू हो गए हैं.
टारगेट किलिंग भी किसकी? गोलगप्पे की रेहड़ी लगाने वाले एक आम दुकानदार की, एक दवा की दुकान चलाने वाले कश्मीरी पंडित की, स्कूल में पढ़ाने वाली टीचर की और लकड़ी का काम करने वाले एक गरीब कारपेंटर की. श्रीनगर के ईदगाह इलाके में आतंकियों ने बिहार के रहने वाले अरविंद कुमार की गोली मारकर हत्या कर दी. वो गोलगप्पे बेचकर अपने घर का गुजारा चलाता था. अचानक कुछ आतंकी आए और अरविंद के सिर में गोली मारकर फरार हो गए. इलाज के लिए उसे नजदीकी अस्पताल भी ले जाया गया, लेकिन ज्यादा खून बहने की वजह से उसकी मौत हो गई. अरविंद का परिवार बिहार के बांका में रहता है. अरविंद अपने माता-पिता और 3 भाइयों को छोड़कर अपने भाई के साथ श्रीनगर में काम तलाशने आया था लेकिन आतंकियों ने 22 साल के इस रेहड़ी लगाने वाले दुकानदार को मार दिया. वजह बस इतनी कि उसने अपने ही देश के एक हिस्से में यानी कश्मीर में जाकर गोलगप्पे बेचने की हिमाकत की. वहीं पुलवामा में भी यूपी के रहने वाले सगीर अहमद की आतंकवादियों ने गोली मारकर हत्या कर दी. जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने इस घटना पर शोक जताया है. उन्होंने कहा कि मैं अरविंद कुमार शाह और सगीर अहमद की निर्मम हत्याओं की कड़ी निंदा करता हूं. जिन परिवारों ने अपनों को खोया है, उनके प्रति मेरी हार्दिक संवेदना है. इस दुख की घड़ी में केंद्र शासित प्रदेश शोक संतप्त परिवारों के साथ खड़ा है. इन जघन्य हमलों के अपराधियों को जल्द ही दंडित किया जाएगा. हमने आतंकवादियों को कुचलने की अपनी कोशिशों को तेज कर दिया है. निर्दोष नागरिकों को मारने के लिए उन्हें बहुत भारी कीमत चुकानी पड़ेगी. मैं लोगों से एक स्वर में बोलने और आतंक के खिलाफ लड़ाई में साथ आने की अपील करता हूं. इससे पहले श्रीनगर के लालबाग इलाके में गोलगप्पे बेचने वाले वीरेंद्र पासवान की हत्या कर दी गई थी. आतंकियों ने कश्मीर के सबसे मशहूर फार्मासिस्ट माखनलाल बिंदरू की दुकान पर गोली मारकर हत्या कर दी थी. उसके एक दिन बाद ईदगाह इलाके में ही स्कूल प्रिंसिपल सुपिंदर कौर और टीचर दीपक चंद की हत्या कर दी थी. आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, 2021 में अब तक कुल 30 नागरिकों को आतंकवादियों ने मार दिया है.