मंदसौर। कोरोना संक्रमण में कमी के बाद जून से धीरे-धीरे अनलॉक शुरू हुआ तो महंगाई बढ़ने लगी। कोरोनाकाल में कारखाने बंद होने से उत्पादन नहीं हुआ। अनलॉक के बाद शादी सहित अन्य समारोह को छूट मिलने लगी। इससे खाद्य सामग्री में दाम में तेजी आई। जून 2020 से फरवरी 2021 के बीच 9 माह में किराना सामान के दाम 10 से 20 प्रतिशत तक बढ़ गए। इससे लोगों की रसोई का बजट गड़बड़ा गया। शकर, दाल, तेल, चायपत्ती, घी के दाम बढ़े हैं। जिले में 9 माह पहले तुअर दाल 85-90 रुपये किलो थी। वर्तमान में फुटकर में दाल के दाम 105 से 110 रुपये किलो पर पहुंच गए हैं। व्यापारी कैलाश जैन के मुताबिक नई फसल बाजार में आने के बाद ही तुअर दाल के दाम में कमी आने की उम्मीद है।
अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी तेजी
रसोई तेल में भी अनलॉक के बाद तेजी आई है। जून 2020 में 90-95 रुपए लीटर मिलने वाला सोयाबीन तेल फरवरी 2021 में 120 से 125 रुपये में पहुंच गए हैं। इसके कारण लोगों को महंगे तेल में तड़का लगाना पड़ रहा है। कारोबारी पुरुषोत्तम राठौर के मुताबिक तेल के भाव में अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी तेजी है।
4 माह में गैस सिलेंडर 125 रुपये महंगा
बीते 4 माह में घरेलू रसोई गैस सिलेंडर 180 रुपये महंगा हुआ है। सितंबर 2020 में यह 617 रुपये का था। जनवरी 2021 में 725 रुपये हुआ। फरवरी में यह सीधे 795 रुपये जा पहुंचा। एचपीएसएल की रीजनल मैनेजर राजेंद्र पाटीदार ने बताया कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में क्रूड ऑइल की कीमतों में उतार-चढ़ाव के अनुसार हर माह रेट ऊपर से तय होते हैं।
चायपत्ती के दाम में 80 रु. तक उछाल लाकडाउन में चायपत्ती के बागान से पत्तियां नहीं टूटीं। फैक्टरियां बंद रहीं। इसका असर डिमांड और आपूर्ति पर पड़ा। 8 माह में चायपत्ती के दाम 50-60 रुपये प्रति किलो बढ़े हैं। ब्रांडेड कंपनी की चायपत्ती 100 रुपये तक महंगी हुई है। अभी चायपत्ती के दाम में कमी आने की उम्मीद कम है। (एजेंसी, हि.स.)
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