नई दिल्ली: पंजाब के अमृतसर ने शुक्रवार शाम को शिवसेना के नेता सुधीर सूरी की सरेआम हत्या कर दी गई. इस हत्या के पीछे खालिस्तानी आतंकियों के होने के शक के चलते अब मामले की जांच करने नेशनल इन्वेस्टीगेशन एजेंसी (NIA) पहुंची है. फिलहाल एनआईए ने इस हत्याकांड की शुरुआती तफ्तीश की है. इस हत्या के पीछे पाकिस्तान के एक खालिस्तानी आतंकी संगठन ने इसकी जिम्मेदारी ली थी. इस दौरान एनआईए की टीम मौके पर पहुंची है. एनआईए उन सोशल मीडिया पोस्ट्स को भी खंगाल रही हैं जो सूरी की मौत के बाद वायरल हुए हैं.
वहीं सुधीर सूरी के शव का अंतिम संस्कार शुरू हो गया है लेकिन उनके परिजन अंतिम संस्कार के लिए अभी भी तैयार नहीं है. परिवार की शर्त है कि सुधीर को शहीद का दर्जा दिया जाए. उनके परिजनों ने मामले में सीबीआई जांच की मांग की है. परिजनों ने इस दौरान उन पुलिस कर्मियों पर भी कार्रवाई की मांग की है जो सुधीर की सुरक्षा में तैनात थे और उनके बीच हमलावर ने घुसकर उनकी हत्या कर दी. परिवार ने कहा है कि वह इन मांगों के पूरे होने के बाद ही शव का अंतिम संस्कार करेंगे.
प्रदर्शन के दौरान गोलियों से भूना
पंजाब के अमृतसर में शुक्रवार को शिवसेना (टकसाली) नेता सुधीर सूरी की गोली मारकर हत्या कर दी गई. पुलिस ने यह जानकारी दी. उन्होंने कहा कि यह घटना शहर के सबसे व्यस्त इलाकों में से एक, मजीठा रोड पर गोपाल मंदिर के बाहर हुई जहां सूरी अन्य लोगों के साथ धरने पर बैठे थे. सड़क किनारे कुछ खंडित मूर्तियां मिलने के बाद वह अपने साथियों के साथ मंदिर के बाहर धरना दे रहे थे. उनका कहना था कि यह मूर्तियों की बेअदबी का मामला है. सूरी गोपाल मंदिर के प्रबंधन का विरोध कर रहे थे.
पहले से थे कई गैंगस्टर्स के निशाने पर
पुलिस के अनुसार, सूरी पर पांच से अधिक गोलियां चलाई गईं और उन्हें अस्पताल ले जाया गया जहां उनकी मौत हो गई. आरोपी संदीप सिंह को गिरफ्तार कर लिया गया है और अपराध में इस्तेमाल किए गए हथियार को भी जब्त कर लिया गया है. उन्होंने बताया कि सूरी लंबे समय से कई गैंगस्टर के निशाने पर थे. सरकार ने पंजाब पुलिस के आठ जवानों के साथ उन्हें सुरक्षा मुहैया कराई थी. इस घटना का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है जिसमें गोलियों की आवाजें सुनी जा सकती हैं. गोली लगने से कुछ क्षण पहले, सूरी पुलिस कर्मियों को धरने का कारण बता रहे हैं.
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