इंदौर, विकाससिंह राठौर। इंदौर के एयरपोर्ट विस्तार के लिए सालों इंतजार के बाद विमानतल प्रबंधन को 20.84 एकड़ जमीन तो मिल गई है, लेकिन जमीन मिलते ही अड़चने भी आना शुरू हो गई हैं। इस जमीन के एक चौथाई भाग पर मेट्रो कंपनी मेट्रो स्टेशन बनाना चाहती है। दूसरी ओर बिजासन मंदिर प्रबंधन ने मांग की है कि बिजासन जाने वाले मार्ग को बंद ना किया जाए। अगर मौजूदा मार्ग को बंद किया जाता है तो सेंट्रल स्कूल के पास से नया मार्ग बनाकर दिया जाए, अन्यथा मंदिर इसके खिलाफ कोर्ट जाएगा। विमानतल प्रबंधन ने इन दोनों ही मामलों की जानकारी जिला प्रशासन और एयरपोर्ट अथोरिटी मुख्यालय को भेज दी है। अब दोनों जगह से दोनों मामलों का निराकरण होने के बाद ही यहां विकास और विस्तार योजनाएं आकार ले पाएंगी, यानी तब तक एयरपोर्ट की विकास योजना फिर ठंडे बस्ते में जा सकती हैं।
उल्लेखनीय है कि एयरपोर्ट के विस्तार के लिए अक्टूबर 2018 में प्रदेश कैबिनेट ने यह जमीन एयरपोर्ट को देने की घोषणा की थी, लेकिन इससे जा रहे बिजासन और आगे के रास्ते के बंद होने के चलते एक शर्त रखी थी कि जब तक कोई वैकल्पिक मार्ग नहीं बनता प्रबंधन इस जमीन पर कब्जा नहीं ले पाएगा। इसके चलते सुपर कॉरिडोर का ढाई किलोमीटर लंबा एक्सटेंशन बनाया गया है। इसके बाद 2 सितंबर को ही मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान ने 20.84 एकड़ जमीन विमानतल प्रबंधन को सौंपी है। विमानतल से मिली जानकारी के मुताबिक इसके बाद मेट्रो कंपनी ने हाल ही में एयरपोर्ट अधिकारियों से संपर्क करते हुए एयरपोर्ट टर्मिनल के सामने मेट्रो स्टेशन बनाने के लिए पांच एकड़ जमीन की मांग रख दी है। कंपनी का कहना है कि इससे हवाई यात्रियों को भी सुविधा होगी और शहर से आने-जाने में यात्री आसानी से मेट्रो का उपयोग कर सकेंगे।
पहले मुख्य मार्ग पर थी योजना, अब टर्मिनल के सामने जमीन मांगी
एयरपोर्ट अधिकारियों ने बताया कि पहले मेट्रो कंपनी एयरपोर्ट से गांधी नगर जाने वाले मुख्य मार्ग पर यह स्टेशन बनाना चाहती थी, इस स्टेशन पर जाने के लिए एयरपोर्ट से सिर्फ 400 वर्गमीटर ही जमीन मांगी थी, लेकिन वहां वन विभाग की जमीन सहित अन्य बाधाएं हैं। इसे देखते हुए एयरपोर्ट टर्मिनल के सामने की ओर मेट्रो स्टेशन बनाए जाने की योजना के साथ मेट्रो कंपनी ने पांच एकड़ जमीन देने का प्रस्ताव एयरपोर्ट अथोरिटी को दिया है।
निराकरण तक अटक सकती हैं विकास योजनाएं
मेट्रो कंपनी द्वारा पांच एकड़ जमीन मांगे जाने और बिजासन मंदिर द्वारा रास्ता बंद ना किए जाने और इसके खिलाफ कोर्ट जाने की चेतावनी के बाद एयरपोर्ट प्रबंधन ने इन दोनों ही मामलों की जानकारी कलेक्टर और एयरपोर्ट प्रबंधन को भेज दी है। दोनों जगह से इन मामलों का निराकरण होने के बाद ही विकास योजना पर काम शुरू हो पाएगा, तब तक ये योजनाएं अटक सकती हैं।
बिजासन मंदिर ने भी ली आपत्ति
सीएम द्वारा जमीन एयरपोर्ट प्रबंधन को दिए जाने के बाद एयरपोर्ट प्रबंधन इस पर तार फेंसिंग करते हुए इसे अपने कब्जे में लेने की योजना बना रहा था। इससे बिजासन और आगे की तरफ जाने वाला रास्ता बंद हो जाता। इससे बिजासन मंदिर के पुजारी और सेवा मंडल ने भी न केवल आपत्ति ली थी, बल्कि कोर्ट जाने की धमकी दी थी।
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