इंदौर। कलेक्टर आशीष सिंह ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए जमीनी जादूगरों के चंगुल फंसीलगभग 12 एकड़ बेशकीमती जमीन मुक्त कराई है। इस जमीन पर साउथ एवेन्यू के नाम से कॉलोनी विकसित की जा रही थी और एक समाज विशेष के लोगों ने ही अधिक संख्या में भूखंड खरीदे। मूल रूप से यह जमीन शारदा राजे की बताई जाती है, जो सीलिंग प्रभावित होकर दो जमीनी जादूगरों द्वारा खरीद ली गई और फिर भूखंडों को काटकर बेच दिया और फिर नजूल विभाग से इसके व्यवस्थापन के प्रयास किए जाते रहे और नगर निगम के जरिए अवैध कॉलोनी से वैध करवाने की भी जुगाड़ की थी। 500 करोड़ से अधिक की इस जमीन का अब शहरहित में प्रशासन उपयोग करेगा।
इस जमीन का खेल पिछले २०-२२ सालों से चल रहा है। सीलिंग एक्ट खत्म होने के बाद इस जमीन पर काबिज लोगों के व्यवस्थापन के प्रयास भी किए गए और लगभग ढाई करोड़ रुपए की राशि जमा भी करवा ली, जो अब भूखंडधारकों को प्रशासन वापस भी करेगा। इसकी पुष्टि करतेे हुए श्री सिंह ने बताया कि अन्नपूर्णा मंदिर के पास स्थित यह जमीन अत्यंत बेशकीमती है। तहसील राऊ में तेजपुर गड़बड़ी में आने वाली लगभग ५ हेक्टेयर जमीन को मुक्त कराया है। बीते कुछ समय से कतिपय जमीनी जादूगरों द्वारा व्यवस्थापन के लिए प्रशासनिक अफसरों से भी सम्पर्क किए जा रहे थे और फिर इसे अवैध कॉलोनी के रूप में बताकर वैध कराने का भी खेल होता। मगर उसके पहले ही कलेक्टर आशीष सिंह ने इस फर्जीवाड़े के खिलाफ कार्रवाई करवा दी। पूर्व कलेक्टर मनीष सिंह ने भी इस जमीन के घोटाले को पकडक़र संभागायुक्त को कार्रवाई के लिए पत्र लिखा था।
इस बारे में अपर कलेक्टर सपना लोवंशी ने बताया कि तहसील राऊ के ग्राम तेजपुर गड़बड़ी स्थित भूमि सर्वे नंबर 56, 57, 58, 59, 99/1 कुल रकबा 4.967 हेक्टेयर जिसका लैण्डयूज पीएसपी एवं रेसीडेंशियल है। गाईड लाईन वेल्यू 118.21 करोड़ है तथा वर्तमान बाजार मूल्य लगभग 400 से 450 करोड़ है। भूमाफियाओं द्वारा वर्ष 2000 से शासन द्वारा जारी परिपत्रों का गलत दुरूपयोग करते हुए इंदौर शहर के बीचोबीच स्थित भूमियों पर लगभग 25 खण्डहरनुमा छोटे-छोटे कमरे बना रखे थे जो कि लगभग 100 फीट दूर स्थित थे। उक्त कमरों में बिजली, पानी, सिवरेज लाईन, सडक़ आदि की कोई व्यवस्था नहीं थी। अतिक्रमण कर्ताओं द्वारा अवैध कालोनी दिखाकर व्यवस्थापन का लाभ लेने के उद्देश्य से भूमियों को हड़पने का षडय़ंत्र रचा जा रहा था तथा शासन को आर्थिक रूप से नुकसान पहुंचाने का प्रयास किया जा रहा था। मौके पर अवैध कालोनी के कोई भी साक्ष्य नहीं पाये गये। कलेक्टर श्री आशीष सिंह के निर्देश के परिपालन एवं अपर कलेक्टार श्रीमती सपना लोवंशी के मार्गदर्शन में अनुविभागीय अधिकारी राऊ श्री विनोद राठौर, तहसीलदार राऊ श्री नारायण नांदेडा आदि के अमले ने उक्त भूमि पर किये गये अतिक्रमण को हटाया।
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