– नया कार्गो टर्मिनल बनने के बाद खाली हुए एयरपोर्ट के पुराने टर्मिनल के उपयोग की बन रही योजना
– उड़ानों के संचालन पर बात नहीं बनी तो किसी कंपनी को किराए पर देगा प्रबंधन
इन्दौर। इंदौर के देवी अहिल्याबाई होलकर अंतरराष्ट्रीय विमानतल पर नया कार्गो टर्मिनल शुरू होने के बाद पुरानी टर्मिनल बिल्डिंग खाली हो गई है। विमानतल प्रबंधन की योजना है कि मुख्य टर्मिनल बिल्डिंग में लगातार बढ़ती यात्री संख्या को देखते हुए छोटे विमानों का संचालन एक बार फिर पुरानी टर्मिनल बिल्डिंग से शुरू किया जाए। इस पर स्थानीय स्तर से लेकर मुख्यालय तक विचार किया जा रहा है। relpost]
उल्लेखनीय है कि इंदौर एयरपोर्ट पर नई टर्मिनल बिल्डिंग 2012 में शुरू की गई थी। इसके बाद पुरानी टर्मिनल बिल्डिंग से उड़ानों का संचालन बंद कर दिया गया था। लंबे समय तक खाली पड़े रहने के बाद इस भवन की निचली मंजिल का उपयोग डोमेस्टिक कार्गो टर्मिनल के रूप में शुरू किया गया था, लेकिन इंदौर में बढ़ते कार्गो परिवहन को देखते हुए यहां नया डोमेस्टिक कार्गो टर्मिनल बनाया गया है। हाल ही में इसका संचालन भी शुरू हो चुका है। इसके बाद पुरानी टर्मिनल बिल्डिंग एक बार फिर खाली हो चुकी है। अब एयरपोर्ट प्रबंधन इसका उपयोग करने पर विचार कर रहा है। इस बीच वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा सुझाव दिया गया है कि एयरपोर्ट के नए यात्री टर्मिनल में लगातार बढ़ती यात्री संख्या के कारण जगह कम पडऩे लगी है। इसलिए एयरपोर्ट पर आने वाले छोटे विमानों का संचालन पहले की ही तरह एक बार फिर इसी बिल्डिंग से शुरू कर दिया जाए।
स्टाफ की उपलब्धता है सबसे बड़ी चुनौती
पुरानी टर्मिनल बिल्डिंग से छोटे विमानों का संचालन किए जाने का मतलब है कि इन विमानों के यात्री इसी भवन से आएंगे और जाएंगे। इससे नई टर्मिनल बिल्डिंग में यात्री दबाव कम हो जाएगा। अभी इंदौर से रोजाना संचालित होने वाली 84 उड़ानों में से 30 से ज्यादा उड़ानें एटीआर जैसे छोटे विमानों, जिनकी क्षमता 72 सीटर होती है, से संचालित होती हैं। इस योजना को काफी पसंद किया जा रहा है, लेकिन इसे लागू करने के लिए सबसे बड़ी चुनौती हर विभाग और एयरलाइंस के लिए स्टाफ उपलब्ध करवाने की है। अगर यहां से उड़ानों का संचालन होता है तो हर एयरलाइंस को अपना एक काउंटर यहां भी शुरू करना होगा। वहीं सुरक्षा के लिए सीआईएसएफ को भी अतिरिक्त बल नियुक्त करना होगा। साथ ही साफ-सफाई से लेकर अन्य सभी कामों के लिए भी अतिरिक्त स्टाफ की जरूरत होगी।
किराए पर दिए जाने पर भी विचार, मिले कुछ प्रस्ताव
अगर पुरानी टर्मिनल बिल्डिंग से छोटे विमानों का संचालन शुरू नहीं किया जाता है तो विमानतल प्रबंधन इसे किराए पर भी दे सकता है। इसके लिए प्रबंधन को कुछ प्रस्ताव भी मिले हैं। इसमें कुछ कंपनियों ने यहां कमर्शियल उपयोग के लिए स्थान मांगा है। इनमें एक कंपनी उड़ानों में खाने-पीने की व्यवस्था करने वाली भी है, जो यहीं स्थान लेकर इन-हाउस केटरिंग सेवा शुरू करना चाहती है। इसी तरह कुछ और भी प्रस्ताव एयरपोर्ट प्रबंधन के पास हैं। ऐसा होने पर बिल्डिंग का नया कमर्शियल उपयोग शुरू होगा, जिससे एयरपोर्ट प्रबंधन को आय का नया स्रोत भी मिल सकता है। शुरुआत से ही यहां विमानतल प्रबंधन और सीआईएसएफ के प्रशासनिक कार्यालय मौजूद हैं। वहीं एक हिस्सा प्रशासन को भी वीआईपी स्पेस के रूप में दिया गया है। बाकी पूरा टर्मिनल अभी खाली है।
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