नई दिल्ली (New Delhi)। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने जापान (Japan) के निवेशकों एवं उद्यमियों (investors and entrepreneurs) को भारत (India) में मौजूद निवेश अवसरों का फायदा उठाने का न्योता देते हुए कहा कि कारोबारी सुगमता (ease of doing business) बढ़ाने के लिए तमाम बंदिशों में ढील दी जा रही है। सीतारमण ने कहा कि अमृतकाल में भारत वर्ष 2027 तक पूर्ण कारोबारी सुगमता सुनिश्चित करने की दिशा में बढ़ रहा है।
जापान के दौरे पर पहुंचीं सीतारमण ने गुरुवार को निवेशकों एवं उद्यमियों के एक समूह के साथ परिचर्चा के दौरान उन्हें भारत में निवेश के लिए आमंत्रित किया। वित्त मंत्री ने भारत में सरकार की तरफ से उठाए गए कारोबार-अनुकूल कदमों का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि ‘अमृतकाल’ में भारत को सशक्त करने के लिए सरकार ने कारोबारी सुगमता बढ़ाने के लिए कई कदम उठाए हैं, जिनमें विभिन्न पाबंदियों को शिथिल करना भी शामिल है।
सीतारमण ने जापान चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (जेसीसीआई) और भारतीय दूतावास टोक्यो के सहयोग से आयोजित ‘राइजिंग इन्वेस्टमेंट ऑपर्च्युनिटीज: डेस्टिनेशन इंडिया’ विषय पर निवेशकों और व्यापारिक नेताओं के एक समूह को संबोधित किया। वित्त मंत्री ने अपने संबोधन में 25 वर्षों के ‘अमृत काल’ का जिक्र करते हुए कहा कि सरकार का ध्यान चार ‘आई’ निवेश (घरेलू एवं विदेशी), जनजीवन में प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल बढ़ाने के लिए नवाचार, ढांचागत क्षेत्र और वृद्धि से हरेक नागरिक को लाभान्वित करने के लिए समावेश पर है।
उल्लेखनीय है कि वित्त मंत्री दुनिया के सात विकसित देशों के समूह जी7 की बैठक में आमंत्रित सदस्य के तौर पर शामिल होने के लिए जापान के दौरे पर हैं। सीतारमण जापान के निगाता में होने वाली जी-7 समूह के वित्त मंत्रियों और केंद्रीय बैंक के गवर्नरों की बैठक में शामिल होंगी। जी-7 दुनिया के 7 प्रमुख औद्योगिक देशों कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, ब्रिटेन और अमेरिका का मंच है।
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