इन्दौर, अरविंद तिवारी। केंद्रीय कृषि और ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chauhan) ने आखिरकार अपने निजी स्टाफ के लिए मध्य प्रदेश काडर के ही एक अधिकारी के नाम पर स्वीकृत की मोहर लगा दी है। यदि सब कुछ ठीक-ठाक रहा और प्रधानमंत्री कार्यालय से अनुमोदन मिल गया तो इंदौर के पूर्व कलेक्टर डॉक्टर इलैया राजा टी उनके नए निजी सचिव होंगे। वे अभी मध्य प्रदेश पर्यटन विकास निगम के प्रबंध संचालक हैं।
शिवराज के केंद्र में मंत्री बनने के बाद से ही उनके निजी स्टाफ के लिए मध्य प्रदेश काडर के कई अफसरों के नाम चर्चा में थे। संभावना यह जताई गई थी कि शिवराज के बेहद भरोसेमंद माने जाने वाले इंदौर के पूर्व कलेक्टर मनीष सिंह या जनसंपर्क संचालक रहे आशुतोषप्रताप सिंह उनके निजी स्टाफ में अलग-अलग पद पर रहेंगे। एक नाम मुख्यमंत्री रहते लंबे समय तक उनके स्टाफ में रहे नीरज वशिष्ठ का भी था। सूत्रों के मुताबिक शिवराज ने अपने निजी सचिव पद के लिए साफ सुथरी छवि वाले और आम आदमी के प्रति बेहद संवेदनशील मध्य प्रदेश काडर के आईएएस अफसर इलैयाराजा के नाम पर स्वीकृति दे दी।
शिवराज के मध्य प्रदेश का मुख्यमंत्री रहते हुए राजा इंदौर, जबलपुर, रीवा और भिंड के कलेक्टर रहे। कमलनाथ के मुख्यमंत्रित्व काल में वे कुछ समय उनके सचिवालय में उपसचिव भी रहे। राजा की नियुक्ति का प्रस्ताव केंद्रीय कार्मिक मंत्रालय को भेजा जा चुका है। वहां से अनुमोदन के बाद इस पर पीएमओ की स्वीकृति की मोहर लगेगी और इसी के बाद आदेश जारी हो पाएंगे। सामान्यत: केंद्र में प्रतिनियुक्ति की अवधि 5 साल की रहती है लेकिन मंत्री के स्टाफ में जाने की स्थिति में यह उनके कार्यकाल की अवधि से जुड़ी रहती है।
आम नागरिक के प्रति बेहद संवेदनशील रहे इलैया राजा
इंदौर में कलेक्टर रहते हुए इलैया राजा आम नागरिक के प्रति बेहद संवेदनशील रहे। वे जनसुनवाई में पहुंचने वाले दुखी लोगों की बात को बहुत गंभीरता से लेते थे और उसका हाथों-हाथ निराकरण करवाते थे। दिव्यांगों के प्रति उनका विशेष अनुराग था और वे उन्हें साधन उपलब्ध कराने में हमेशा तत्पर रहते थे। उन्होंने बड़ी संख्या में विकलांगों को तिपहिया वाहन उपलब्ध कराने के साथ ही उनके रोजगार की व्यवस्था भी की।
इकबाल सिंह के भी बेहद भरोसेमंद
राजा शिवराज सिंह चौहान के मुख्यमंत्री काल में लंबे समय तक प्रदेश के मुख्य सचिव रहे इकबाल सिंह बेंस के भी बेहद नजदीकी माने जाते हैं। ऐसा कहा जाता है कि उन्हें इंदौर कलेक्टर बनवाने में बेंस की भूमिका ही सबसे महत्वपूर्ण रही थी। केंद्र में मंत्री बनने के बाद शिवराज कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर बेंस के अनुभव का लाभ लेते रहते हैं।
©2024 Agnibaan , All Rights Reserved