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    अब रोबोट कर रहे ज्वॉइंट रिप्लेसमेंट सर्जरी, सॉफ्टवेयर और AI से मिल रही मदद

  • March 02, 2024

    नई दिल्‍ली (New Delhi) । ज्वॉइंट रिप्लेसमेंट (joint replacement) को मेडिकल (Medical) दुनिया कि सबसे मुश्किल सर्जरी में से एक माना जाता है जिसमें जरा सी भी गलती कि गुंजाइश नहीं होती है. इस तरह कि सर्जरी (surgery) को करने में वक्त भी बहुत लगता है साथ ही इसकी रिकवरी भी आसान नहीं होती लेकिन अब बदलते तकनीक ने इसे काफी आसान और सटीक कर दिया है. दरअसल नोएडा के फोर्टिस अस्पताल के ऑपरेशन थिएटर में बीते कई महीनों से कुछ ऐसा ही हो रहा है, जहां रोबोट (Robot) ने सैकड़ों ज्वॉइंट रिप्लेसमेंट के सकारात्मक परिणाम दिए हैं.

    ज्वॉइंट रिप्लेसमेंट करने में कारगर रोबोट ने अब हिप और घुटने के रिप्लेसमेंट को काफी आसान कर दिया है. इसको लेकर फोर्टिस नोएडा के डॉक्टरों की माने तो ज्वॉइंट रिप्लेसमेंट का यह रोबोट पूरे उत्तर भारत का सबसे एडवांस रोबोट है ये बहुत कम समय में न सिर्फ ऑपरेशन कर देता है बल्कि रिकवरी भी बहुत तेजी से होती है क्योंकि ऑपरेशन रोबोट कर रहा होता है तो यह काफी सटीक है और इसमें कट भी कम लगता है. नए सॉफ्टवेयर और एआई के आने से अब सर्जरी काफी आसान हो गई है अब आप सोचेंगे भला रोबोट कैसे सर्जरी करता होगा? दरअसल इस रोबोट में एक आर्म है और इसके साथ सर्जन मिल कर ऑपरेशन करते है.

    रोबोटिक ऑपरेशन थिएटर दिखने में सामान्य ओटी जैसा ही होता है, अगर बात मेको ज्वॉइंट रिप्लेसमेंट रोबोट की बात करे तो यहां आपको 3 मशीन नजर आएंगी जिसमें सबसे पहले एक कंसोल है जो मरीज की बीमारी का इतिहास और उनके सीटी स्कैन की इमेज को फीड करता है, इसके बाद जो दूसरी मशीन है उसमे मॉनिटर होता है उसमे एक बार में सेंकड़ों तस्वीर बन जाती है. यह घुटने को बदलते वक्त तस्वीरे लेने का काम करता है.तीसरी मशीन वो होती है जिसपर टेक्नीशियन होते है साथ में सर्जन होते है इस मशीन से ही ऑपरेशन किया जाता है.


    डॉक्टर अतुल मिश्रा बताते हैं कि रोबोट आने से ऑपरेशन काफी आसान, सटीक और बेहतर हो गए हैं क्योंकि घुटने बदलते वक्त छोटी सी गलती भी बहुत बड़ी हो सकती है इसलिए रोबोट का इस्तेमाल सटीक ऑपरेशन के लिए कारगर है. इसमें गलतियों की गुंजाइश नहीं बचती है. बीते 6 महीने में 200 सर्जरी रोबोट के जरिए कि गई है वहीं कुछ सर्जरी सामान्य तरीके से भी की गई है लेकिन राहत भरी बात ये है कि रोबोट कि सर्जरी सामान्य ऑपरेशन से ज्यादा संतोषजनक रहा है.

    रोबोट ने ऑपरेशन को आसान कर दिया है, इस तकनीक ने ऑपरेशन करने के तरीके को बदला है, लेकिन इसका मतलब ये नही है कि रोबोट अकेले ऑपरेशन करने में कारगर है, चाहे रोबोट एक्टिव हो या सेमी एक्टिव हो लेकिन रोबोट खुद ऑपरेशन नही कर सकते ये केवल सर्जन के कमांड पर काम करते है. इसलिए ऐसा नहीं कहा जा सकता है कि रोबोट के आने से डॉक्टर की भूमिका कम या बदल रही है. डॉक्टर के साथ मिलकर ही रोबोट ऑपरेशन कर सकते हैं.

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