नई दिल्ली। देश में सड़क हादसों के मामले आए दिन देखने को मिलते रहते हैं। केंद्र सरकार (Central government) ने अब इस तरह के होने वाले हादसों के लिए बड़ा कदम उठाया है। इस तरह के ‘हिट ऐंड रन’ मामले में पीड़ित की मौत होने पर उसके परिजनों को देने वाले मुआवजे में सरकार ने इजाफा करने का फैसला लिया है। इस मुआवजे में सरकार 1 अप्रैल से इजाफा कर देगी। सरकार ने बताया कि 1 अप्रैल से मुआवजे में 8 गुना का इजाफा कर दिया जाएगा।
सड़क परिवहन मंत्रालय (ministry of road transport) के नए फैसले के अनुसार 120 दिन में मुआवजे के लिए सभी प्रक्रिया पूरी हो जानी चाहिए। इसमें 90 दिन के अंदर डिटेल एक्सीडेंट रिपोर्ट तैयार करनी होगी। इसके बाद 30 दिन के अंदर इंश्योरेंस कंपनी (insurance company) अपनी प्रक्रिया पूरी कर ले। इस तरह 120 दिन में प्रक्रिया पूरी करने की समय सीमा तय की गई है। इसके अलावा प्रत्येक जिले के डीएम को सड़क हादसों में पीडि़तों को मुआवजा दिलाने के लिए एक अधिकारी की नियुक्ति करना है। पुलिस को सड़क हादसे के 48 घंटे के अंदर एफएआर यानी फर्स्ट एक्सीडेंट रिपोर्ट लिखनी है।
इस संबंध में एक्सपर्ट और सेव लाइफ फाउंडेशन की करुणा रैना ने बताया कि अब हिंट एंड रन (hint and run) के मामले में मृत्यु होने पर सरकार द्वारा तय अधिकतम 2 लाख और गंभीर रूप से घायल होने पर 50 हजार रुपये का मुआवजे का सेटलमेंट बगैर अदालत जाए ही किया जा सकेगा। इस मुआवजे के लिए किसी भी तरह का आय का प्रमाण नहीं देना होगा। सरकार द्वारा तय मुआवजा लेने के बाद भी पीडि़त अदालत जा सकता है।
बस एंड कार ऑपरेटर्स कंफेडरेशन ऑफ इंडिया (सीएमवीआर) के चेयरमैन गुरुमीत सिंह तनेजा ने कहा कि सरकार के इस फैसले से पीडि़त लोगों को बहुत फायदा होगा। इससे मुआवजा दिलवाने में बिचौलियों की भूमिका खत्म हो जाएगी। इसके अलावा इंश्योरेंस से मोबाइल नंबर लिंक करने से भी वाहन स्वामी को ढूंढ़ना आसान हो जाएगा। क्योंकि लोग मोबाइल नंबर जल्दी नहीं बदलते हैं। सड़क परिवहन मंत्रालय ने हिट एंड रन मामले में मुआवजे की राशि बढ़ा दी है। अब गंभीर रूप से घायल व्यक्ति को 12500 से लेकर 50000 रुपए तक दिया जा सकता है। इसके अलावा हिट एंड रन से मृतयु होने पर 25000 रुपए से 200000 लाख रुपए तक भुगतान किया जा सकता है।
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