मुंबई: सुशांत सिंह राजपूत के सुसाइड केस में फंसी रिया चक्रवर्ती अभी तक कानूनी लड़ाई लड़ रही हैं. इस मामले में सीबीआई ने रिया के खिलाफ एक परमानेंट लुक-आउट सर्कुलर जारी किया था. इसके तहत उन्हें कोर्ट की परमिशन के बिना विदेश जाने की अनुमति नहीं थी. इस सर्कुलर की वजह से उन्हें कई समस्याओं का सामना कर पड़ा रहा है. रिया के प्रोफेशनल काम के लिए विदेश नहीं जा पा रही हैं. इस सर्कुलर को रद्द करने के लिए रिया, उनके भाई शौविक और पिता ने बॉम्बे हाईकोर्ट में याचिका दायर की हुई है.
ईटाइम्स के मुताबिक, बॉम्बे हाईकोर्ट ने याचिका पर सुनवाई करते हुए इस पर फैसले को स्थगित कर दिया. हालांकि, दिसंबर 2023 में कोर्ट ने एक हफ्ते के लिए कोर्ट ने सीबीआई के लुक-आउट सर्कुलर को रद्द कर दिया था. उस वक्त रिया को प्रोफेशनल काम के लिए दुबई जाना था. उन्होंने दुबई जाने से एक हफ्ते पहले परमिशन मांगी थी.
रिया चक्रवर्ती के वकील ने दी दलील
इस बीच, गुरुवार को रिया चक्रवर्ती के भाई शौविक चक्रवर्ती और उनके पिता ने जो एलओसी रद्द करने की याचिका दायर की थी, उस पर बॉम्बे हाईकोर्ट फैसला टाल दिया है. वकील अयाज खान ने कोर्ट में तर्क दिया कि यदि आरोपी नियमित रूप से कोर्ट में पेश नहीं होते हैं और गिरफ्तारी से बचते हैं तो एलओसी जारी की जानी चाहिए. लेकिन रिया के मामले में ऐसा नहीं है.
सीबीआई के वकील ने दिया ये हवाला
हालांकि, सीबीआई के वकील श्रीराम शिरसाट ने कहा कि कोर्ट में रिया के प्रेजेंस का मतलब यह नहीं है कि कोई जांच नहीं होनी चाहिए. उन्होंने रिया को सर्कुलर देने का भी कारण बताया. हालांकि, बेंच ने सीबीआई की देरी की आलोचना करते हुए टिप्पणी की कि आरोप पत्र को पूरा करने के लिए साढ़े तीन साल काफी होते हैं. कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है.
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