इंदौर। रबी सीजन में सिंचाई के लिए बेहतर बिजली देने में बिजली कंपनी लगातार प्रयास कर रही। पिछले 1 महीने से रिकॉर्ड खपत 6000 मेगावाट को पार कर रही है तो चाक-चौबंद व्यवस्था के लिए बिजली कंपनी ने पिछले 3 महीनों में 10000 से ज्यादा ट्रांसफार्मरों बदल दिया है तो कुछ की क्षमता भी बढ़ाई है। बिजली कंपनी ने दावा किया है कि आपूर्ति की शिकायतों में 60 फ़ीसदी की कमी आई है।
इंदौर बिजली कंपनी मालवा-निमाड़ के 15 जिलों में बिजली की आपूर्ति करती है। अक्टूबर, नवंबर, दिसंबर, जनवरी इन 4 महीनों में बिजली की खपत सिंचाई के कारण रिकॉर्ड स्तर पर रहती है। अक्टूबर की शुरुआत में 3800 बिजली की खपत रही, जो पिछले 1 महीने से 6000 मेगावाट को पार कर रही है, जो कि एक नया रिकॉर्ड बिजली आपूर्ति का है। इंदौर-उज्जैन संभाग के 15 जिलों में तकरीबन 13,75 ,000 ट्यूबवेल, कुएं और नहर से सिंचाई हो रही है। बेहतर आपूर्ति के लिए बिजली कंपनी ने 11 सितंबर के बाद 11 दिसंबर तक 3 महीनों में 10,000 से ज्यादा ट्रांसफार्मर बदले हैं। इसके साथ ही तकरीबन 1000 ट्रांसफार्मरों की क्षमता बढ़ाई है और इतनी ही संख्या के नए ट्रांसफार्मर भी लगाए हैं।
प्रदेश के ऊर्जामंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर के निर्देशानुसार पश्चिम क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी उपभोक्ता सेवाओं पर और अधिक ध्यान दे रही है। इसी कारण आपूर्ति संबंधी शिकायतों की संख्या में सतत कमी देखने को मिल रही है। 90 दिनों के अंतराल में शिकायतों में 60 फीसदी की कमी आई है। बिजली कंपनी कंपनी के प्रबंध निदेशक अमित तोमर ने बताया कि उपभोक्ताओं की सुविधाएं बढ़ाने, आपूर्ति में गुणात्मक सुधार और शिकायत निवारण प्रक्रिया को सटीक करने से स्थिति में बड़ा बदलाव आया है। इसी कारण शिकायतों की संख्या में तीन माह से सतत कमी की स्थिति है। उन्होंने बताया कि 90 दिन पहले 11 सितंबर को एक दिन में दर्ज शिकायतों की संख्या 5450 थी, अब 11 दिसंबर यह संख्या मात्र 2032 रह गई है। इस तरह करीब 60 फीसदी की कमी आई है। वर्तमान में कंपनी क्षेत्र में सभी प्रकार के कुल उपभोक्ताओं की संख्या 57 लाख से ज्यादा है।
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