जैसलमेर। राजस्थान (Rajasthan) में जैसलमेर (Jaisalmer) के मोहनगढ़ नहरी क्षेत्र (Mohangarh canal area) में एक दुर्लभ भूगर्भीय घटना (Rare geological phenomenon) से हड़कंप मच गया. यहां एक खेत में बोरवेल की खुदाई (Digging of borewell) के दौरान अचानक जमीन फट गई. इसी के साथ भारी प्रेशर के साथ पानी और गैस बाहर निकलने लगा. वहीं मशीन और ट्रक जमीन में दफन हो गया. पानी की धार 10 फीट ऊंची थी. यह नजारा देख आसपास के ग्रामीण दहशत में आ गए. किसान के खेत में पानी नदी की तरह बहने लगा. प्रशासन ने आसपास के क्षेत्रों को खाली करवा दिया है. ONGC से मदद लेने के लिए संपर्क किया गया है।
जानकारी के अनुसार, यह घटना जैसलमेर के मोहनगढ़ नहरी क्षेत्र का है. यहां एक किसान के खेत में ट्यूबवेल के लिए बोरिंग का काम चल रहा था. मशीन से करीब 250 मीटर (करीब 850 फीट) खुदाई हो चुकी थी, तभी अचानक जमीन फट गई. इसी के साथ मशीन सहित ट्रक जमीन में दफन हो गया।
ट्रक का केवल बाहर का हिस्सा ही नजर आ रहा था. इस दौरान जो गड्ढा हुआ, उसमें से भारी प्रेशर के साथ पानी और गैस निकलने लगी. पानी का प्रेशर इतना जबरदस्त था कि करीब 10 फीट ऊंची बौछार हो रही थी. यह मंजर देख ग्रामीण डरकर भाग गए। पानी ऐसे निकल रहा था कि जैसे ज्वालामुखी से लावा निकल रहा हो. बेहद खौफनाक मंजर था. देखते ही देखते आसपास समंदर सा नजर आने लगा. पानी लगातार 12 घंटे तक निकलता रहा।
इस मामले की जानकारी मिलने पर ग्राउंड वाटर बोर्ड के वरिष्ठ भूजल वैज्ञानिक डॉ. नारायण दास इनखिया, उप तहसीलदार व कार्य पालक मजिस्ट्रेट ललित चारण और जिला प्रशासन के साथ पुलिस टीम मौके पर पहुंची. अफसरों ने मामले का जायजा लिया. घटनास्थल के आसपास क्षेत्र को खाली करवा लिया गया।
जिला प्रशासन ने स्थिति पर नियंत्रण के लिए ONGC से संपर्क किया. ग्राउंड वाटर बोर्ड के विशेषज्ञों के अनुसार, भूगर्भ में सेंड स्टोन के नीचे पानी का कोई विशाल भंडार या कोई नदी मौजूद है, जिसमें कोई पंक्चर होने पर इतनी वेग से भूगर्भ से अपने आप पानी बाहर आ रहा है. दरअसल, जैसलमेर के मोहनगढ़ इलाके के नहरी क्षेत्र में जोरा माइनर के पास विक्रम सिंह का खेत है. उस खेत में ट्यूबवेल के लिए बोरिंग हो रही थी. उसी दौरान ये घटना हो गई।
भूजल विभाग के वरिष्ठ वैज्ञानिक बोले- लंबे समय तक भूगर्भ से पानी आने की है संभावना
भूजल विभाग के वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. नारायण दास इनखिया ने बताया कि जैसलमेर में नहरी क्षेत्र 27 बीडी में ट्यूबवेल के लिए खुदाई के समय जमीन से अचानक पानी प्रेशर के साथ आना शुरू हो गया. यह पानी प्रेशर के साथ निरंतर जारी है, जिसे रोकने के लिए प्रशासनिक स्तर पर सारे प्रयास किए जा रहे हैं. हालांकि पानी लगातार करीब 12 घंटे से आ रहा है. करीब 10 फीट ऊंची धार है, इसमें और बढ़ोतरी की संभावना है. लंबे समय तक पानी भूगर्भ से निकलने की संभावना है।
डॉ. इनखिया ने कहा कि भुजल का यह अथाह प्रवाह भूगर्भ में भूविज्ञान की भाषा में आर्टिजन कंडीशन की वजह से हो सकता है. भूगर्भ में सेंड स्टोन में कोई दबे भूजल भंडारण में पंक्चर होने पर पानी का उछाल हो सकता है. यह ट्रेसरी सेंड स्टोन फॉर्मेशन है. यहां से निकल रहा पानी स्लाइन है. पानी के साथ वाइट कलर की सेंड भी बाहर आ रही है. जिस तरह से पानी का बहाव देखा जा रहा है, ये काफी दिनों तक जारी रह सकता है. इसके पास नहीं जाना चाहिए, कोई बड़ी घटना हो सकती है. फिलहाल आसपास के क्षेत्र को खाली करवाया गया है।
500 मीटर की परिधि में जाने पर रोक, बनाई जा रही अस्थाई पुलिस चौकी
इस संबंध में उप तहसीलदार एवं कार्यपालक मजिस्ट्रेट ललित चारण ने बताया कि क्षेत्र के आसपास के आमजनों को सूचित किया है कि जहां से पानी का रिसाव हो रहा है, उस क्षेत्र के 500 मीटर की परिधि में न तो कोई व्यक्ति जाए और न ही पशुओं को जाने दें. भूगर्भ से गैस निकल रही है, जिसकी वजह से पानी उछल रहा है. वहां धंसे ट्रक को अगर हटाया गया तो गैस का रिसाव और ज्यादा बढ़ जाएगा. फिलहाल सूचना जारी कर अस्थायी पुलिस चौकी लगाई जा रही है. तेल गैस कंपनी ONGC के अधिकारियों से बातचीत की जा रही है, ताकि उनकी टीम मौके पर आए तो कुछ निस्तारण हो. फिलहाल मौके पर गैस की बदबू आ रही है. गड्ढे में ट्रक फंसा है, जिसमें से कीचड़, पानी और गैस निकल रही है।
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