बस्ती (Basti) । राहुल मद्देशिया (Rahul Madhesiya) के अपहरण के मामले (Kidnapping case) में कोर्ट (Court) से भगोड़ा घोषित पूर्व मंत्री अमरमणि त्रिपाठी (Amarmani Tripathi) की अग्रिम जमानत पर गुरुवार को फैसला आएगा। फास्ट ट्रैक कोर्ट प्रथम/ एमपी एमएलए कोर्ट के न्यायाधीश प्रमोद कुमार गिरि की अदालत ने अपहरण कांड में अमरमणि त्रिपाठी के अग्रिम जमानत प्रार्थना पत्र पर सुनवाई करते हुए फैसला सुरक्षित कर लिया है।
यूपी के कोतवाली बस्ती में राहुल मद्धेशिया के अपहरण के मुकदमे में आरोपित अमरमणि त्रिपाठी का नाम वर्ष 2001 में प्रकाश में आया था। इसी केस की सुनवाई में अमरमणि वांछित हैं। अमरमणि त्रिपाठी के वकील ने तीन जुलाई 2024 को अग्रिम जमानत प्रार्थना पत्र दाखिल किया। लिखा है कि उन्हें परेशान करने के लिए फंसाया गया है। वह एफआईआर में नामजद अभियुक्त नहीं है। विवेचना में अन्य के साथ सहअभियुक्त में नाम बढ़ा दिया गया है। इस मामले में 19 दिसम्बर 2001 को लखनऊ में उनकी गिरफ्तारी हुई। ट्रांजिट रिमांड पर बस्ती न्यायालय में 21 दिसम्बर 2001 को पेश किया गया था।
वकील ने लिखा है कि एक फरवरी 2002 को जमानत पर रिहा होने का आदेश हुआ था। दूसरे केस में वह 20 वर्षों तक कारागार में निरुद्ध थे। इस समय भी वह बीमार चल रहे हैं और डॉक्टर की निगरानी में हैं। मुकदमे के वादी की मृत्यु हो चुकी है। राहुल ने स्वयं सुलहनामा दाखिल किया है कि अपहरण में अमरमणि की कोई भूमिका नहीं है। प्रार्थी के विरुद्ध गिरफ्तारी वारंट न्यायालय से जारी है। गिरफ्तार होने की आशंका है। इसलिए अग्रिम जमानत पर रिहा करने की कोर्ट से अपील है।
संपत्तियां होंगी कुर्क
अमरमणि की लखनऊ में दो और संपत्तियां मिलने की बात सामने आई। इन संपत्तियों की कुर्की के लिए पुलिस ने कमिश्नरेट लखनऊ के एसडीएम से पत्राचार किया है। इसका हलफनामा विशेष न्यायाधीश एमपी-एमएलए कोर्ट में दिया है। विशेष न्यायाधीश एमपी-एमएलए/अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश/फास्ट ट्रैक कोर्ट प्रथम प्रमोद कुमार गिरि की अदालत में सुनवाई के दौरान बस्ती पुलिस ने हलफनामा दिया है। कहा है कि अमरमणि की लखनऊ स्थिति संपत्तियों की कुर्की के लिए पत्राचार किया गया है।
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