नई दिल्ली: कांग्रेस के दिग्गज नेता राहुल गांधी बुधवार को केरल के वायनाड से नामांकन दाखिल करेंगे. राहुल कलपेट्टा में रोड शो का नेतृत्व करके अपने चुनाव अभियान की शुरुआत करेंगे. रोड शो में सात निर्वाचन क्षेत्रों मनन्थावडी, सुल्तान बाथे, कलपेट्टा, एर्नाड, वंडूर, नीलांबुर और तिरुवंबदी से हजारों कार्यकर्ताओं के भाग लेने की उम्मीद है. राहुल के नामांकन के 24 घंटे बाद केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी वायनाड में होंगी. 2019 के लोकसभा चुनाव में स्मृति ईरानी ने अमेठी में राहुल गांधी को हराया था. राहुल 2004, 2009 और 2014 के लोकसभा चुनाव में इस सीट पर जीत हासिल किए थे.
स्मृति ईरानी गुरुवार को बीजेपी उम्मीदवार के समर्थन में रोड शो करेंगी. वह 8.30 बजे लैंड करेंगी. अमेठी से सांसद स्मृति ईरानी एयरपर्ट से 2.8 किलो मीटर तक लंबा रोड शो करेंगी. बीजेपी के प्रत्याशी के साथ मिलकर राहुल के खिलाफ उनका रोड शो होगा. बीजेपी प्रत्याशी 11 बजे नॉमिनेशन फाइल करेंगे. उसके बाद स्मृति ईरानी प्रेस कॉन्फ्रेंस करेंगी.
वायनाड में दूसरे चरण के तहत वोटिंग होगी. यानी यहां पर 26 अप्रैल को वोट डाले जाएंगे. राहुल गांधी वायनाड के मौजूदा सांसद हैं. उन्होंने 2019 के लोकसभा चुनाव में सीपीआई के पीपी सुनीर को हराया था. राहुल को 7 लाख 6 हजार 367 वोट मिले थे. तो सीपीआई प्रत्याशी को 2 लाख 74 हजार 597 वोट मिले थे.
इस बार के चुनाव में बीजेपी ने वायनाड से पार्टी के राज्य प्रमुख के सुरेंद्रन को टिकट दिया है. सुरेंद्रन 2020 से केरल बीजेपी इकाई के अध्यक्ष के रूप में कार्यरत हैं. वह वर्षों पहले सबरीमाला में युवा महिलाओं के प्रवेश के खिलाफ भगवा पार्टी के उग्र आंदोलन का चेहरा हैं. कोझिकोड जिले के उल्लेयेरी के रहने वाले सुरेंद्रन ने अपने राजनीतिक जीवन की शुरुआत भारतीय जनता युवा मोर्चा के वायनाड जिला अध्यक्ष के रूप में की थी.
उन्होंने 2019 के लोकसभा चुनाव में पथानामथिट्टा से चुनाव लड़ा था लेकिन हार गए थे. सुरेंद्रन को उसी वर्ष विधानसभा उपचुनाव में कोन्नी से मैदान में उतारा गया था, लेकिन वह सफल नहीं हो सके.
वायनाड लोकसभा सीट के सियासी समीकरण देखें तो यहां 49 फीसदी वोटर्स हिंदू और 51 फीसदी आबादी अल्पसंख्यक समुदाय की है. अल्पसंख्यक वोटर्स में करीब 30 फीसदी मुस्लिम और 21 फीसदी इसाई शामिल हैं. वायनाड संसदीय सीट के तहत सात विधानसभा सीटें आती हैं, जिसमें एरनाड, मनंतावडी, सुल्तानबथेरी, कलपत्ता, तिरुवंबडी, निलंबूर और वानदूर है. कांग्रेस की यह परंपरागत सीट मानी जाती है.
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