इंदौर। 1 जुलाई से कालेजों में नया शैक्षणिक सत्र शुरू करने का निर्देश है, लेकिन यूजी-पीजी की परीक्षाएं तकरीबन आगामी दो महीने तक चलने के कारण नया शैक्षणिक सत्र समय पर शुरू करना आसान नहीं होगा। ज्यादातर कॉलेजों को परीक्षा केंद्र बनाया गया है। ऐसे में कॉलेज के सामने परीक्षा कराने के साथ ही शैक्षणिक सत्र को शुरू करने की मुश्किलें रहेंगी।
देवी अहिल्या यूनिवर्सिटी से सम्बद्धता रखने वाले तकरीबन 280 कॉलेजों में पीजी के 20 हजार और यूजी के प्रथम वर्ष के 80 हजार छात्रों की संख्याएं 20 अगस्त तक रहेंगी। यूनिवर्सिटी में 170 परीक्षा केंद्र इन छात्रों के लिए बनाए हैं। ऐसे में 10 दिन बाद 1 जुलाई से नया शैक्षणिक सत्र शुरू करने की परेशानी कालेजों के प्राचार्य एवं प्रबंधन को अभी से है। ज्यादातर प्राचार्यों का कहना है कि तीन सत्रों में परीक्षाएं कराना है, तो छात्रों की कक्षा का समय क्या रखा जाए, किस प्रकार नए शैक्षणिक सत्र को शुरू किया जाए। इसके साथ ही सबसे बड़ी परेशानी परीक्षा विभाग द्वारा क्षमता से दोगुने छात्रों की परीक्षाएं कराने में भी कालेजों को आ रही हैं।
नई शिक्षा नीति के तहत हुई देरी
नई शिक्षा नीति के तहत यूजी प्रथम वर्ष के छात्रों की परीक्षाएं कराने के लिए पहले निर्देश अनुसार कार्रवाई में काफी समय लगा, जो परीक्षाएं मार्च में होना थीं, वह जून में शुरू हो रही हैं। यूनिवर्सिटी प्रबंधन को कोर्स सिलेबस के अनुसार प्रश्न पत्र तैयार करने में काफी मशक्कत करना पड़ी। तकरीबन डेढ़ महीने तक विषय विशेषज्ञों की बैठकों का दौर भी चला। इसके साथ ही पहले 35 दिनों में परीक्षाएं कराना होती थीं, लेकिन नई शिक्षा नीति के तहत प्रश्न पत्रों की संख्या में बढ़ोतरी के कारण यह परीक्षा तकरीबन दो महीने यानी 60 दिन चलेगी।
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