भोपाल। प्रदेश में नए उद्योगों की स्थापना के लिये उपयोग में आने वाली वन भूमि अथवा गैर-वन भूमि के परीक्षण के लिये वन विभाग द्वारा ऑनलाइन प्रक्रिया प्रारंभ कर दी गई है। इस योजना को लोक सेवा गारंटी अधिनियम के दायरे में लाया जाकर अधिकतम दो सप्ताह में प्रमाण-पत्र जारी कर दिया जायेगा। खास बात यह है कि ऑनलाइन आवेदन बुलाने से लेकर वन भूमि के प्रमाण पत्र जारी करने का काम निजी कंपनी आईटी इनेब्लड सर्विसेस करेगी।
वन मंत्री विजय शाह ने बताया कि ने बताया कि अभी तक यह परीक्षण फाइलों पर तथा मैदानी स्तर पर मैन्युअली किया जाता था। नई व्यवस्था होने से न केवल समय और श्रम की बचत होगी, बल्कि होने वाली त्रुटियों की संभावना खत्म हो जायेगी। भूमि परीक्षण की प्रक्रियाओं में अनुकूलता लाने के लिये अब यह कार्य आईटी. इनेबल्ड सर्विसेस के जरिये हो सकेंगे। आवेदक बिना किसी कार्यालय में जाए वेबसाइट के माध्यम से आवेदन कर सकेंगे। भूमि की पड़ताल सेटेलाइट डेटा और जियो ग्राफिक इन्फार्मेशन की सहायता से स्वत: हो जाया करेगी। वन विभाग द्वारा किये गये नए प्रावधान ई-गवर्नेंस और सिटिजन सेंट्रिक गवर्नेंस के प्रति राज्य सरकार की प्रतिबद्धता को पुष्ट करता है।
पट्टों के लिए सालों से भटक रहै हैं वनवासी
एक ओर सरकार वन भूमि को उद्योगपतियों के लिए मुहैया कराने जा रही है। इसके लिए बाकायदा सरलीकरण भी कर दिया है। जिससे उद्योगपतियों केा परेशान नहीं होना पड़े। जबकि वनवासी सालों से वनाधिकार पट्टों के लिए भटक रहे हैं। वन वितरण का काम अभी तक पूरा नहीं हुआ है। जबकि सुप्रीम कोर्ट इसको लेकर गाइडलाइन तय कर चुका है।
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