नई दिल्ली: जन सुराज अभियान (Jan Suraj Abhiyan) के संस्थापक प्रशांत किशोर (Prashant Kishore) ने बेरोजगारी और नौकरियों जैसे मुद्दों के बीच भारतीय जनता पार्टी (BJP) की जीत (winning) के लिए विपक्षी दलों (opposition parties) को जिम्मेदार ठहराया है. उन्होंने कहा कि विपक्षी दल वोटर्स (party voters) को एकजुट करने में नाकाम रहे हैं.
उन्होंने एक निजी टीवी चैनल पर इंटैरेक्टिव सेशन के दौरान कहा, “बीजेपी इसलिए लगातार चुनाव जीत रही है, क्योंकि विपक्ष में लोग एकजुट नहीं हो पा रहे हैं. साथ ही वे मतदाताओं को प्रेरित भी नहीं कर पा रहे हैं.”
प्रशांत किशोर ने कहा कि 2019 में 100 में से 38 लोगों ने पीएम मोदी (PM Modi) के पक्ष में मतदान किया, जबकि 62 ने नहीं किया, लेकिन ये 62 मतदाता एकजुट नहीं हैं और बिखरे हुए हैं. कोई भी उन्हें प्रेरित करने में सक्षम नहीं है और सरकार को इससे फायदा हो रहा है.
जन सुराज अभियान
प्रसिद्ध चुनाव रणनीतिकार किशोर ने बीजेपी, जेडीयू- आरजेडी महागठबंधन, डीएमके, तृणमूल कांग्रेस और वाईएसआर कांग्रेस सहित कई प्रमुख राजनीतिक दलों के साथ काम किया हैं. उन्होंने 2022 में जन सुराज अभियान शुरू किया.
जनसुराज समर्थित उम्मीदवार उतारेंगे किशोर
हाल ही में उन्होंने घोषणा की कि 2025 के बिहार विधानसभा चुनावों में उनके संगठन ‘जन सुराज’ की समर्थित एक मंच की ओर से अत्यंत पिछड़ा वर्ग (ईबीसी) श्रेणी के कम से कम 75 लोगों को चुनाव में उतारा जाएगा.
कांग्रेस में शामिल नहीं हुए किशोर
प्रशांत किशोर को 2022 में कांग्रेस में शामिल होने का प्रस्ताव मिला था. हालांकि, उन्होंने प्रस्ताव को अस्वीकार कर दिया. कांग्रेस में शामिल नहीं होने पर किशोर ने पोस्ट किया था, “मैंने कांग्रेस के उदार प्रस्ताव को अस्वीकार कर दिया है. मेरी राय में परिवर्तनकारी सुधारों के माध्यम से गहरी जड़ें जमा चुकी संरचनात्मक समस्याओं को ठीक करने के लिए मुझसे ज्यादा पार्टी को मजबूत नेतृत्व और सामूहिक इच्छाशक्ति की जरूरत है.
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