नई दिल्ली । आरिफ मोहम्मद खान (Arif Mohammad Khan)को बिहार का राज्यपाल(Governor of Bihar) बनाए जाने पर सियासत गरमा(Politics heats up) गई है। केंद्र सरकार(Central government) ने बिहार समेत पांच राज्यों में नए राज्यपाल की नियुक्ति की है। केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान को बिहार का राज्यपाल बनाया गया है। आरिफ मोहम्मद खान बिहार के 42वें राज्यपाल होंगे। वह राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर की जगह लेंगे। राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर को केरल का राज्यपाल नियुक्त किया गया है। आरिफ मोहम्मद खान को बिहार का राज्यपाल बनाए जाने पर राजद ने कहा है कि केंद्र सरकार अपने मंसूबे में कामयाब नहीं हो पाएगी। वहीं कांग्रेस ने कहा है कि राज्यपाल के बाद बीजेपी चुनाव से पहले नीतीश कुमार को भी किनारे कर देगी।
आरजेडी प्रवक्ता, एजाज अहमद ने कहा है कि एक राजनीतिक सोच के जरिए बिहार के राज्यपाल को बदला गया है। हालांकि, इसमें उनको सफलता नहीं मिलेगी। बिहार की जनता भारतीय जनता पार्टी और डबल इंजन की सरकार की मंशा को समझ रही है। बिहार की जनता को पता है कि किस तरह से राज्य में नफरत फैलाने की साजिश हो रही है।
बीजपी के प्रवक्ता प्रभाकर मिश्रा ने कहा कि आरिफ मोहम्मद खान को बिहार का राज्यपाल नियुक्त किया जा रहा है। विपक्षी दलों को अल्पसंख्यक विरोधी होने के आरोपों पर नींबू निचोड़ने से कम नहीं महसूस हो रहा होगा। सर्वधम समभाव का अनुसरण करते हुए केंद्र सरकार का निर्णय स्वागत है।
कांग्रेस प्रवक्ता, राजेश राठौर ने कहा कि आरिफ मोहम्मद खान का बिहार की धरती पर स्वागत है लेकिन एक आश्चर्य है कि नरेंद्र मोदी, अमित शाह और आरएसएस जैसे हार्ड कोर शख्स एक आरएसएस कैडर को हटा कर एक अल्पसंख्यक को बिहार का राज्यपाल क्यों बनाते हैं? मुझे लगता है कि एक वक्त आएगा जब बिहार चुनाव से पहले बीजेपी नीतीश कुमार को दरकिनार कर देगी।
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