कानपुर। उत्तर प्रदेश के कानपुर नरसंहार का मास्टरमाइंड गैंगस्टर विकास दुबे आज सुबह उज्जैन से कानपुर ले आते समय फिल्मी स्टाइल में बीच रास्ते में ही रहस्यमई एवं नाटकीय मुठभेड़ के दौरान पुलिस की गोली से अंततः मारा गया है। इस बीच सुरक्षा एजेंसियों को भनक लगी थी कि दुबे के गांव में अभी हथियार व देसी बम मौजूद है । इसको लेकर कानपुर की पुलिस ने आज सुबह से ही गैंगस्टर विकास दुबे के विकरू गांव में जोरदार तलाशी अभियान शुरू कर दिया। सूत्रों ने बताया है कि गांव में पुलिस के सर्च अभियान के दौरान सात जिंदा देसी बम अब तक बराबर बरामद किए जा चुके हैं । बताया गया है कि यह देसी बम एनकाउंटर में मारे गए गैंगस्टर विकास दुबे के इशारों पर ही गांव के पंचायत भवन में भूसे के अंदर छिपाकर रखे गए थे । पुलिस ने इन सातों जिंदा देसी बमों को अपने कब्जे में लेकर पानी में डुबोकर उन्हें निष्क्रिय करने की कोशिश की है। समाचार लिखे जाने तक बम निरोधक दस्ता गांव में पहुंच गया है और इन देसी जिंदा बमों को निष्क्रिय करने की कोशिश की जा रही है। उधर दूसरी तरफ गैंगस्टर विकास दुबे की मां ने कानपुर जाने से इनकार कर दिया है। साथ ही उन्होंने अपने मृतक बेटे का शव भी देखने से साफ इनकार कर दिया है। गौरतलब है कि इससे पहले 8 पुलिसकर्मियों की हत्या के आरोपी गैंगस्टर विकास दुबे की पत्नी रिचा दुबे एवं बेटे को पूछताछ के बाद पुलिस ने छोड़ दिया है। उत्तर प्रदेश के आठ पुलिसकर्मियों की हत्या के आरोपी विकास दुबे भी 8 दिन के अंदर ही अपने अंजाम तक पहुंच गया है। वहीं अब यूपी पुलिस को उसके 12 और और मोस्ट वांटेड वांछित अपराधियों की तलाश है। कुल मिलाकर अब तक तीन गुर्गे गिरफ्तार किए गए हैं , जबकि विकास दुबे सहित 6 दुर्दांत अपराधियों का एनकाउंटर पुलिस कर चुकी है। उधर दूसरी तरफ आरोपी विकास दुबे के एनकाउंटर को लेकर यूपी में सियासत तेज हो गई है। फिल्मी अंदाज में किए गए नाटकी एनकाउंटर को लेकर उत्तर प्रदेश की मुख्य विपक्षी दल समाजवादी पार्टी के साथ ही बहुजन समाज पार्टी एवं काग्रेस ने योगी सरकार पर ताबड़तोड़ हमले बोल दिए हैं।
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