नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को ओडिशा के बालासोर में ट्रेन हादसे वाली जगह पर पहुंचें. शुक्रवार रात यहां भीषण ट्रेन दुर्घटना हुई, जिसमें अब तक 260 से ज्यादा लोगों ने जान गंवा दी है. प्रधानमंत्री ट्रेन हादसे वाली जगह पर हालात का जायजा ले रहे हैं. उनके साथ रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव भी मौजूद हैं. इसके अलावा रेलवे के तमाम आला अधिकारी भी प्रधानमंत्री Narendra Modi के साथ मौके पर मौजूद हैं. यहां से पीएम मोदी कटक जाएंगे, जहां वह हादसे में घायल हुए लोगों से मिलेंगे.
रेल मंत्री प्रधानमंत्री को हादसे के बाद किए गए कार्यों की जानकारी दे रहे हैं. पीएम को रेलवे अधिकारियों ने कुछ फाइलें दिखाई हैं, जिसमें हादसे को लेकर जानकारी है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बालासोर मेडिकल कॉलेज भी जा सकते हैं. इसे ध्यान में रखते हुए मेडिकल कॉलेज की सुरक्षा बढ़ा दी गई है.
वहीं, बालासोर आने से पहले पीएम मोदी ने दिल्ली में एक बैठक बुलाई. इस बैठक में ओडिशा सड़क दुर्घटना से जुड़े हालातों पर चर्चा की गई. रेलवे ने कहा है कि हादसे में जान गंवाने वाले यात्रियों के परिजनों को 10 लाख रुपये मुआवजा के तौर पर दिया जाएगा. पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा है कि इस ट्रेन हादसे में उनके राज्य के जिन लोगों ने जान गंवाई है, उन्हें 5 लाख रुपये दिए जाएंगे. रेलवे ने बताया है कि रेस्क्यू ऑपरेशन पूरा हो चुका है.
रेलवे ने शुरू की मामले की जांच
भारत में मौजूदा रिकॉर्ड की मानें तो ये ट्रेन हादसा चौथा सबसे भयानक हादसा है. शुक्रवार शाम 7 बजे के करीब बालासोर जिले में बाहानगा बाजार स्टेशन के पास ये ट्रेन हादसा हुआ. फिलहाल रेलवे इस मामले की जांच में जुटी हुई है कि आखिर तीनों ट्रेन कैसे एक-दूसरे से टकरा गईं. भारती रेलवे ने एक बयान में कहा है कि ट्रेन हादसे की जांच का जिम्मा एएम चौधरी को दिया गया है, जो साउथ ईस्ट सर्कल में रेलवे सेफ्टी कमिश्नर हैं. रेलवे सेफ्टी कमिश्नर नागरिक उड्डयन मंत्रालय के तहत आता है.
कैसे हुआ हादसा?
ओडिशा में हुए इस ट्रेन हादसे में तीन ट्रेनें शामिल रही हैं. ये हादसा तब हुआ, जब चेन्नई जा रही कोरोमंडल एक्सप्रेस पटरी से उतर गई और ये बगल में खड़ी मालगाड़ी से टकरा गई. इस वजह से कोरोमंडल एक्सप्रेस की पिछली बोगियां तीसरे ट्रैक पर जा पहुंची. वहीं, उसी दौरान दूसरी तरफ से आ रही बेंगलुरू-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस पटरी से उतरी बोगियों से टकरा गई.
ये हादसा इतना भयंकर था कि ट्रेन की बोगियों को मालगाड़ी के ऊपर चढ़े हुए देखा गया. एनडीआरएफ की टीम ने गैस कटर और इलेक्ट्रिक कटर की मदद से बोगियों को काटा और उसमें फंसे हुए लोगों को बाहर निकाला.
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