नई दिल्ली: भारत (India) को पेरिस ओलंपिक (paris olympics) की जैवलीन थ्रो इवेंट (Javelin Throw Event) में नीरज चोपड़ा से गोल्ड की उम्मीद थी. लेकिन पाकिस्तान के स्टार जैवलीन थ्रोअर अरशद नदीम (arshad nadeem) गोल्ड ले उड़े. अरशद ने अपने दूसरे प्रयास में 92.97 मीटर भाला फेंककर हैरान कर दिया. उन्होंने दो बार 90 का आंकड़ा पार किया. ओलंपिक में पाकिस्तान के लिए अरशद व्यक्तिगत स्पर्धा में गोल्ड जीतने वाले पहले एथलीट रहे. पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की मुख्यमंत्री मरियम नवाज ने पेरिस में ओलंपिक रिकॉर्ड के साथ स्वर्ण पदक जीतने वाले अरशद नदीम के लिए 10 करोड़ (पाकिस्तानी) रुपये की नकद पुरस्कार की घोषणा की है.
अरशद नदीम को हालांकि कुछ महीने पहले ओलंपिक के लिए नया भाला खरीदने के लिए ‘क्राउड फंडिंग’ (बड़ी संख्या में लोगों से धन जुटाना) की मदद लेनी पड़ी थी. मरियम ने यह भी कहा कि इस खिलाड़ी के नाम पर उनके गृहनगर खानेवाल में एक स्पोर्ट्स सिटी बनाई जाएगी. नदीम को संसाधनों और सुविधाओं की कमी का सामना करना पड़ा है. पाकिस्तान में इस तरह की समस्या का सामना लगभग सभी गैर-क्रिकेट खिलाड़ी को करना पड़ता है. पाकिस्तान का 10 करोड़ भारतीय करेंसी में 3 करोड़ के बराबर है.
राष्ट्रमंडल खेलों (2022) में स्वर्ण पदक और विश्व चैम्पियनशिप (2023) में रजत पदक जीतने के बाद भी नदीम को पेरिस ओलंपिक से पहले एक नए भाले के लिए गुहार लगानी पड़ी. उनका पुराना भाला वर्षों के उपयोग के बाद खराब हो गया था. शायद इसीलिए नदीम ने गुरुवार को पेरिस से अपने माता-पिता को पहला संदेश दिया कि वह अब अपने गांव में या उसके आसपास एथलीटों के लिए एक उचित अकादमी बनाने के लिए दृढ़ संकल्पित हैं.
अरशद नदीम के पिता मुहम्मद अरशद ने बताया, ‘हम उसे इतनी लोकप्रियता देने के लिए अल्लाह के शुक्रगुजार हैं. उसने उम्मीद जताई कि यह ओलंपिक स्वर्ण पदक अब ग्रामीण क्षेत्र में खिलाड़ियों के लिए एक खेल अकादमी बनाने के उसके प्रयास में मदद करेगा.’ पाकिस्तान में कई वर्षों तक राष्ट्रीय एथलेटिक्स निकाय का नेतृत्व करने वाले जनरल (रिटायर) मुहम्मद अकरम साही को भरोसा है कि अरशद की उपलब्धि से देश में एथलेटिक्स की लोकप्रियता में इजाफा होगा. उन्होंने कहा, ‘मैं कई और अरशद नदीम को पाकिस्तान के लिए पदक जीतते हुए देखना चाहता हूं. नीरज चोपड़ा जब उभरे तो उन्होंने भारत में गैर क्रिकेट खिलाड़ियों पर बड़ा प्रभाव डाला और उम्मीद है कि पाकिस्तान में भी ऐसा होगा.’
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