नई दिल्ली. जम्मू-कश्मीर (Jammu and Kashmir) के पहलगाम (Pahalgam) इलाके में मंगलवार को हुए एक आतंकी हमले (Terrorist attacks) में 28 लोगों की जान गई थी. भारत (India) ने इस कायराना हमले का जिम्मेदार पाकिस्तान (Pakistan) को मानते हुए अगले ही दिन यानी कि बुधवार को 5 बड़े फैसले लिए. पीएम नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई CCS की बैठक में फैसला लिया गया कि 65 साल पुरानी सिधु जल संधि को अब रोक दिया जाएगा. साथ ही अटारी पोस्ट को भी बंद कर दिया गया. ऐसे में आइए जानते हैं कि आखिर सरकार के वो 5 फैसले क्या हैं औन इनके मायने क्या हैं…
जानें सरकार के क्या हैं 5 बड़े फैसले
पीएम मोदी की अध्यक्षता में हुई बैठक में फैसला लिया गया कि अब भारत-पाकिस्तान के बीच 1960 की सिंधु जल संधि को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है. साथ ही अटारी चेक पोस्ट को भी बंद कर दिया गया है. तीसरे फैसले में सरकार पाकिस्तान के नागरिकों को SAARC वीजा योजना के तहत भारत नहीं आने देगी. नई दिल्ली स्थित पाकिस्तानी उच्चायोग में रक्षा, सैन्य और नौसेना व वायुसेना सलाहकारों को 7 दिन में देश छोड़ने को कहा गया है. वहीं, भारत ने पाकिस्तान में स्थित अपने उच्चायोग से सलाहकारों को बुला लिया है.
19 सितंबर 1960 को दोनों देशों के बीच 6 नदियों के पानी को लेकर एक समझौता हुआ था. इसी को सिंधु जल संधि कहते हैं. समझौते के अनुसार, भारत को रावी, ब्यास और सतलुज का अधिकार मिला, जबकि पाकिस्तान को सिंधु, झेलम और चिनाब का इस्तेमाल की इजाजत दी गई. इस संधि का मकसद था कि दोनों देशों में जल को लेकर कोई संघर्ष न हो.
अब जानें ये क्यों सबसे बड़ा एक्शन
इस संधि के बाद दोनों देशों में कई बार तल्खियां आ चुकी हैं. इस बीच आतंकी हमलों के साथ ही भारत के पाकिस्तान से तीन युद्ध भी हो चुके हैं. लेकिन भारत ने कभी भी पानी नहीं रोका था. लेकिन पहलगाम हमले के बाद भारत ने ये एक्शन लिया है. इस एक्शन से पाकिस्तान में पानी का संकट गहरा जाएगा. दरअसल, पाकिस्तान की 80% खेती सिंधु, झेलम और चिनाब नदियों के पानी पर ही निर्भर है. इसके अलावा पाकिस्तान कई डैम और हाइड्रो प्रोजेक्ट्स से बिजली बनाता है. पानी की कमी से बिजली उत्पादन में गिरावट आ सकती है. यानी आसान शब्दों में कहें तो भारत के इस कदम से पाकिस्तान की आर्थिक हालत खस्ताहाल हो सकती है.
अटारी पोस्ट बंद करने से होगा व्यापारिक नुकसान
दरअसल, अटारी चेक पोस्ट बंद होने से अब दोनों देशों के बीच आवाजाही भी पूरी तरह से बंद होगी. अबतक भारत से जो छोटे-छोटे सामानों की आवाजाही भारत से होती थी वह भी पूरी तरह से बंद हो जाएगी. इससे वहां के छोटे व्यापारियों को आर्थिक नुकसान होगा. वैसे तो दोनों देशों में द्विपक्षीय व्यापार बंद है. लेकिन दोनों देशों के बीच छोटे-मोटे सामानों का लेन देन होता है. लेकिन अब इसपर भी लगाम लगेगी.
वीजा सर्विस रोकने से क्या होगा?
भारत ने पाकिस्तानियों के वीजा पर भी रोक लगाई है. दरअसल, ये एक सांकेतिक असर भी है कि अब भारत पूरी तरह से पाकिस्तान को दरकिनार करेगा. साथ ही पाकिस्तान के कई लोगों की रिश्तेदारी भारत में है. ऐसे में कई बार पाकिस्तानी लोग रिश्तेदार बनकर भारत आते हैं. लेकिन अब ऐसा नहीं हो सकेगा. साथ ही भारत से हर एक पाकिस्तानी को भेजने की प्लानिंग है. यह पाकिस्तान से हर तरीके का संबंध तोड़ने की तैयारी है.
हाईकमीशन पर एक्शन से क्या होगा
भारत ने नई दिल्ली में स्थित पाकिस्तानी हाईकमीशन में तैनात एडवाइजर्स को अवांछित घोषित किया है. उन्हें देश छोड़ने के लिए एक हफ्ते का समय भी दिया है. वहीं, पाकिस्तान से भारत ने अपने सलाहकार बुला लिए हैं. सरकार के इस कदम से दोनों देशों के बीच सैन्य-स्तर की बातचीत और संपर्क पूरी तरह बंद हो जाएंगे. वहीं, स्टाफ घटाने से पाकिस्तान की कूटनीति को झटका लगेगा.
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