इस्लामाबाद (Islamabad)। पाकिस्तान (Pakistan) आम चुनाव (General election) में वोटिंग (Voting) के लिए तैयार है। मंगलवार रात को चुनाव प्रचार खत्म हो गया। पाकिस्तानी चुनावी प्रक्रिया (Pakistani electoral process) पर 100 विदेशी पर्यवेक्षक (100 foreign observers) नजर रख रहे हैं। पाकिस्तान के आम चुनाव में पूर्व पीएम नवाज शरीफ (Former PM Nawaz Sharif) की पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) (Pakistan Muslim League-Nawaz (PML-N)) सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरने की उम्मीद है। इमरान खान (Imran Khan) के जेल में होने के कारण और चुनाव चिन्ह पर विवाद के बीच शरीफ पूरी तरह से फायदे में हैं। पीपीपी के बिलावल भुट्टो (Bilaval Bhutto) का पंजाब में ज्यादा दखल नहीं है। यदि शरीफ जीते तो वह चौथी बार पीएम बनेंगे। पाकिस्तान में कुल 90,675 पोलिंग स्टेशन होंगे। इन स्टेशनों पर 2,76,402 मतदान केंद्र स्थापित किए जाएंगे।
ECP ने बताया मतदाताओं से जुड़े आंकड़े; विदेशी पत्रकारों की पैनी नजर
पाकिस्तान चुनाव आयोग (ईसीपी) ने कहा, आम चुनाव में 12.85 करोड़ से अधिक पंजीकृत मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे। अशांत बलूचिस्तान में अतिरिक्त सतर्कता बरती जा रही है। नेशनल असेंबली और विधानसभाओं के लिए दो-दो ट्रांस-जेंडर प्रत्याशी पाकिस्तान चुनाव आयोग के अनुसार, नेशनल असेंबली सीटों के लिए 5121 उम्मीदवारों में से कुल 12,85,85,760 पंजीकृत मतदाता वोट देने के पात्र हैं। इनमें 4,807 पुरुष, 312 महिला और दो ट्रांस-जेंडर प्रत्याशी शामिल हैं। चार प्रांतीय विधानसभाओं के लिए 12,695 उम्मीदवार मैदान में हैं, जिनमें 12,123 पुरुष, 570 महिलाएं और दो ट्रांस-जेंडर शामिल हैं। मुख्य चुनाव आयुक्त सिकंदन सुल्तान रजा ने बताया कि देश में 100 से ज्यादा विदेशी पर्यवेक्षक व विदेशी पत्रकार चुनाव कवर करने आए हैं।
सुरक्षा का जिम्मा 6.50 लाख जवानों पर; हाई अलर्ट पर अस्पताल
पाकिस्तान में नेशनल असेंबली और प्रांतों के चुनाव के लिए 6.50 लाख सुरक्षाकर्मियों की तैनाती की गई है। बलूचिस्तान पंजगुर के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी (एसएसपी) अब्दुल्ला जहरी ने कहा, आतंकी चुनाव प्रत्याशियों को इसलिए निशाना बना रहे हैं ताकि लोग मतदान केंद्रों तक न पहुंचें। इसे लेकर देशभर में सुरक्षा व्यवस्था और सख्त कर दी गई है। पाकिस्तान के अस्पतालों को किसी भी अप्रिय स्थिति से निपटने के लिए 7 से 9 फरवरी तक हाई अलर्ट पर रखा गया है। राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवा विनियमन और समन्वय मंत्रालय द्वारा जारी एक अधिसूचना के अनुसार, डॉक्टरों, नर्सों और अन्य कर्मचारियों की छुट्टियां रद्द कर दी गई हैं।
हिंसक घटनाओं के डर में मतदान कम रहने का अंदेशा
कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में चुनाव को सिर्फ सेना की पसंद के लोगों को चुनने का माध्यम बताया जा रहा है। जनता इसे नाटक बता रही है। वहीं, शहरी इलाकों के ज्यादातर वोटरों का मानना है कि दूर-दराज में निष्पक्ष चुनाव की उम्मीद भी नहीं की जा सकती है, क्योंकि चुनाव बैलेट पेपर पर हो रहा है। पाकिस्तान में तमाम सशस्त्र समूह सक्रिय हैं, जो खासतौर पर खैबर पख्तूनख्वाह और बलोचिस्तान जैसे प्रदेशों में हिंसक घटनाओं के डर में मतदान कम रहने का अंदेशा है।
पाकिस्तान में आम चुनाव की जानकारी के लिए एक पोर्टल लॉन्च
चुनाव आयोग और पाकिस्तान की अंतरिम सरकार के मुताबिक पूरे देश में तमाम चुनौतियों के बीच 26 करोड़ बैलेट पेपरों का वितरण पूरा हो चुका है। चुनावी ड्यूटी में लगाए गए कर्मचारियों को मतदान प्रक्रिया पूरी कराने का आदेश दिया गया है। सरकार ने चेतावनी दी है कि अगर वे ड्यूटी पर उपस्थित नहीं होते हैं, तो उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी। अंतरिम सरकार के सूचना मंत्री ने बताया कि चुनाव की जानकारी के लिए एक पोर्टल लॉन्च किया गया है। इससे हर जगह चुनाव की स्थिति के बारे में सटीक जानकारी मिलेगी।
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