नई दिल्ली। पाकिस्तान सरकार (government of pakistan) पीओके में लोगों पर जुल्म (atrocities on people in pok) ढहा रही है। रिपोर्ट के अनुसार पाकिस्तानी सेना (pakistan army) पीओके में भारी टैक्स, महंगाई और बिजली की कमी को लेकर प्रदर्शन कर रहे लोगों पर आंसू गैस के गोले छोड़े और गोलियां दागी। जानकारी के अनुसार पाकिस्तानी सेना ने जब यह कार्रवाई की तो लोग शांतिपूर्वक मार्च निकाल रहे थे। सेना की इस दमनात्मक कार्रवाई में दो प्रदर्शनकारियों की मौत हो गई।
स्थानीय मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो जब मार्च शुरू हुआ तो लोग शांतिपूर्वक आगे बढ़ रहे थे लेकिन सेना की कार्रवाई के बाद लोग भड़क गए और सुरक्षाबलों से भिड़ गए। इस दौरान सेना ने एके-47 फायरिंग की। मार्च में बड़े स्तर पर महिलाएं और बच्चे भी शामिल हुए। गोलीबारी की घटना के बाद कई महिलाएं और बच्चे घायल हो गए। जिन्हें बाद में इलाज के लिए स्थानीय हाॅस्पिटल में भर्ती कराया गया। सूत्रों की मानें तो पाकिस्तान की सरकार पीओके के साथ भेदभाव कर रही है। पीओके के बिजली संयंत्रों में बनने वाली बिजली को सरकार देश के अन्य हिस्सों में सप्लाई कर रही है। इससे लोग नाराज हैं।
पीओके की सबसे बड़ी पार्टी यूनाइटेड कश्मीर नेशनल पीपुल्स पार्टी ने प्रदर्शन में हुई गिरफ्तारी पर सवाल उठाते हुए कहा कि पुलिस और सेना ने मिलकर लोगों पर लाठीचार्ज किया है। इसके साथ ही पार्टी ने प्रदर्शन के दौरान गिरफ्तार किए गए लोगों को भी तुरंत रिहा करने का आदेश दिया है। पार्टी ने यूएन मानवाधिकार से मामले में हस्तक्षेप करने क मांग की है। पीओके में लोगों पर दमनात्मक कार्रवाई को लेकर पाक मानवाधिकार आयोग ने भी सवाल उठाए हैं। आयोग ने कहा कि पीओके में लागातार मानवाधिकार का उल्लंघन हो रहा है। आयोग के सदस्य ने कहा कि वहां पर लोगों को विरोध करने से भी रोका जा रहा है। वहां एक किलो आटे की कीमत 800 रुपए है। वहीं एक रोटी 25 रुपए में मिल रही है।
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