मैहर। मध्य प्रदेश के मैहर नगरी क्षेत्र में शारदीय नवरात्रि (Shardiya Navratri) के त्योहार को देखते हुए बड़ा फैसला लिया है। प्रशासन ने क्षेत्र में 9 दिनों तक यानी 12 अक्टूबर तक के लिए मीट बेचने पर रोक लगा दी है। मैहर एसडीएम (SDM) की ओर से यह आदेश जारी किया गया है। गुरुवार (3 अक्टूबर 2024) से शारदीय नवरात्रि का पावन पर्व शुरू हो रहा है। इसी को देखते हुए एसडीम ने ये फैसला लिया है। इसका पालन नहीं करने पर कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी।
मैहर एसडीएम विकास सिंह ने बताया कि धार्मिक नगरी में मां शारदा देवी के दर्शन के लिए देश के कोने-कोने से लाखों की संख्या में श्रृद्धालु मैहर आते हैं। नवरात्रि मेला के दृष्टिगत दण्ड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 144 के तहत सम्पूर्ण नगर पालिका क्षेत्र में 3 अक्टूबर से 12 अक्टूबर की मध्य रात्रि तक मांस-मछली और अण्डे के क्रय-विक्रय पर पूर्णतः प्रतिबंध लगा दिया है। आदेश का उल्लंघन भारतीय दण्ड संहिता की धारा 188 के तहत दण्डनीय होगा।
शक्तिपीठ है मैहर
मैहर में त्रिकुट पर्वत पर स्थित मां शारदा के मंदिर को मैहर देवी का शक्तिपीठ कहा जाता है। यहां शारदीय नवरात्रि के मौके पर हर साल 9 दिनों तक मेला लगता है। वहीं लाखों श्रद्धालु मां के दरबार मे माथा टेकने पहुंचते हैं। भक्तों का मानना है कि यहां मांगी हर मुराद पूरी होती हैं। साथ ही जिन महिलाओं को संतान की प्राप्ति नहीं होती है वो अपनी मनोकामना को लेकर मां के पास आती हैं। मां शारदा उनकी मनोकामना पूरी करती है। इसलिए भक्ति की मंदिर से आस्था जुड़ी हुई है।
देश में एकलौता मंदिर
मान्यता के अनुसार यहां मां सती का हार गिरा था। इसलिए इसे शक्तिपीठों में गिना जाता है। त्रिकुट पर्वत में 1,063 सीढ़ियां चढ़ने के बाद ही मां के दर्शन किए जा सकते हैं। हालांकि अब यहां रोपवे की सुविधा भी शुरू हो गई है, जिससे श्रद्धालु माता के दर्शन आसानी से कर पाते हैं। मध्य प्रदेश का मैहर मंदिर पूरे भारत में माता शारदा का एकमात्र मंदिर है।
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