गुना। परिवहन कमिश्नर गुना कलेक्टर के आदेश से आरटीओ रवि बरेलिया एक बार फिर सड़क पर दिखाई देने लगे हैं इस बार उन्हें बसों की चेकिंग का जिम्मा सौंपा गया है पहले दिन ही कार्यवाही में अनेकों बसों की जांच की गई जिनमें से कुछ जप्त कर ली गई जिन पर कोरोनाकाल का लाखों रुपया बकाया बताया जाता है। सूत्र बताते हैं कि परिवहन विभाग की यह कार्यवाही पक्षपात चल रही है जिसमें नामचीन संस्थानों की बसों के दस्तावेज नहीं जांचे जा रहे हैं उनको बारे-बारे छोड़ा जाकर अभय दान दिया जा रहा है।
ठप्पेदार लग्जरी बसों को क्लीनचिट क्यों?
बताया जाता है कि गुना ग्वालियर भोपाल इंदौर की टप्पे दार लग्जरी वीडियो कोच बसों को खुलेआम लगेज लाने ले जाने व ओवरलोड सवारियां भरने की खुलेआम छूट प्रदान की गई है दूसरी तरफ लग्जरी बसों के परमिट, फिटनेस, बीमा, लाइसेंस, रजिस्ट्रेशन आदि की जांच भी नहीं की जा रही है गुना रोड पर रात्रि को लगभग आधा सैकड़ा से ऊपर वीडियो कोच बस निकलती है लेकिन उन बसों के कागजातों की चेकिंग नहीं होती आखिर उन्हें इस प्रकार से क्लीनचिट अभयदान क्यों दिया जा रहा है। दूसरी तरफ गुना अशोकनगर रोड पर चलने वाली दर्जनों बसों की जांच कब होगी क्योंकि इस रूट पर चलने वाली बसें नामचीन व्यापारी व्यवसायियों की है जिनके द्वारा परिवहन विभाग के सिस्टम से काम किया जाता है इसलिए उन्हें भी ओवरलोड के साथ बगैर कागजी खानापूर्ति के बसें संचालित करने की छूट प्रदान की गई है। बताया जाता है कि गुना अशोकनगर रोड पर चलने वाली बसों में अधिकतर खटारा बसें हैं जो कि सुरक्षा मानकों मैं भी खरी नहीं उतरतीं।
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