कोलकाता। पश्चिम बंगाल के चुनावी समर में आम जनता के लिए सत्तारूढ़ पार्टी तृणमूल कांग्रेस (तृणमूल) अपनी पांच सालों की कार्य योजना के साथ घोषणा पत्र जारी करने जा रही है। इसके लिए आज नंदीग्राम दिवस को चुना गया है। पार्टी ने काफी सूझबूझ से इस तारीख को चुना है क्योंकि 294 विधानसभा सीटों वाले बंगाल में नंदीग्राम सीट इस बार बेहद खास है जहां से खुद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी उम्मीदवार हैं। उनके खिलाफ भाजपा के कद्दावर नेता और ममता कैबिनेट के पूर्व मंत्री शुभेंदु अधिकारी चुनाव लड़ रहे हैं और ममता को 50000 वोटों से हराने का दावा कर रहे हैं।
क्यों खास है नंदीग्राम दिवस
नंदीग्राम सीट अपने आप में ऐतिहासिक है क्योंकि 33 सालों के वाम मोर्चा शासन की जड़े उखाड़ने में नंदीग्राम के लोगों की भूमिका सबसे बड़ी रही है। 2007 में तत्कालीन बुद्धदेव भट्टाचार्य की सरकार ने यहां किसानों की जमीन को उद्योग के लिए जबरदस्ती अधिग्रहित किया था जिसके खिलाफ लाखों किसानों ने आंदोलन किया था। विपक्ष की नेत्री के तौर पर इसका नेतृत्व तो ममता बनर्जी ने किया था लेकिन आंदोलन की रूपरेखा बनाने से लेकर हर तरह की रणनीति के सूत्रधार उस समय के ममता बनर्जी के राइट हैंड कहे जाने वाले शुभेंदु अधिकारी और उनका पूरा परिवार था। 14 मार्च 2007 को आंदोलनकारी किसानों पर फायरिंग हुई थी जिसमें 14 लोगों की मौत हो गई थी और इस घटनाक्रम के बाद पूरे राज्य में वाममोर्चा के खिलाफ गुस्सा भर गया था। इसके नतीजे 2009 के लोकसभा चुनाव में दिखे और ममता बनर्जी की पार्टी यानी तृणमूल के सांसदों की संख्या वाममोर्चा से अधिक हो गई थी।
साल 2011 के विधानसभा चुनाव में ममता की सरकार बनी। इसलिए नंदीग्राम की भूमि ममता की अस्मिता से जुड़ी है तो दूसरी ओर शुभेंदु की अस्मिता से भी जुड़ी हुई है। 2011 के बाद से आज तक इस विधानसभा क्षेत्र से तृणमूल के टिकट पर शुभेंदु ही जीतते थे रहे हैं और उस क्षेत्र में उनका अच्छा खासा दबदबा है। तृणमूल में भी बड़े पैमाने पर उनके समर्थक है और भाजपा समर्थकों की संख्या इसमें जुट गई है।
विशेषज्ञों का कहना है कि तृणमूल के घोषणा पत्र में इस बार युवा और आधी आबादी के लिए विशेष तौर पर घोषणाएं की जा सकती हैं। इसके अलावा किसानों और अल्पसंख्यक तथा एससी एसटी समुदाय के लिए भी अलग से घोषणा ममता बनर्जी करेंगी। 14 मार्च रविवार दोपहर कालीघाट स्थित अपने आवास मुख्यमंत्री चुनावी घोषणापत्र जारी करेंगी। उसी दिन भाजपा के वरिष्ठ नेता और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के बंगाल में रहेंगे। (एजेंसी, हि.स.)
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